आपका-अख्तर खान

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22 नवंबर 2010

आज उनकी याद आई

देखो आज हुई बरसार
और मुझे उनकी याद आ गयी
मोसम में इस बेमोसम
बरसात से
उनका यूँ ख़ुशी के माहोल में
बे वजह रोना
चुप चुप के बडबडाना
मानो बे मोसम
बरसात में
बादलों के साथ
बीजली कडक गयी हो ।
अख्तर खान अकेला कोटा राजस्थान

डकेत नहीं बनने के दस हजार

राजस्थान में बारां जिले में किसी वारंटी को डकेत नहीं बनाने की कीमत यहाँ के एक ऐ एस आई ने १५००० रूपये आंकी हे लेकिन बारां सदर थाने में पकड़े गये अमरलाल नाम के इस आदमी के परिजनों ने यह सोदेबाज़ी स्वीकार नहीं की और इसकी शिकायत भ्रष्टाचार निरोधक पुलिस को कर दी गिरफ्तार अमरलाल के परिजन इन ऐ एस आई रामस्वरूप मीणा जी को पहले पांच हजार रूपये दे चुके थे फिर इनसे डकेती का मामला नहीं बनाने के मामले में दस हजार रूपये की और रिश्वत मांगी गयी बस फिर किया था भ्रस्ताचार निरोधक पुलिस सक्रिय हुई और ऐ एस आई रामस्वरूप जी दस हजार रूपये की रिश्वत लेते रंगे हाथों धर लिए गये , अब बार पुलिस अधीक्षक ओम प्रकाश ने इन ऐ एस आई साहब को निलम्बित कर दिया हे । कोटा रेंज में पहली बार किसी को डकेती के मुकदमें में फंसाने से बचाने के लियें रिश्वत के मामले की पोल खुली हे जबके पिछले कई दिनों से यहाँ इस मामले की शिकायतें छोटे अधिकारी से सभी बड़े अधिकारीयों तक पहुंचाई गयी हें । अख्तर खान अकेला कोटा राजस्थान

ऐ के मिश्र राजस्थान के पूर्णकालिक मुख्य न्यायधीश

राजस्थान में कार्यवाहक मुख्य न्यायधीश ऐ के मिश्र को अब पूर्णकालिक मुख्य न्यायधीश नियुक्त किया गया हे इसके पूर्व इनके पास इस पद का कार्यवाहक प्रभार था , ऐ के मिश्र मध्यप्रदेश के हें और राजस्थान हाईकोर्ट के शीर्ष और वरिष्ट जज रहे हें , पिछले दिनों राजस्थान में पूर्व न्यायधीश भल्ला द्वारा ऐ डी जे की परीक्षाओं के घोटाले करने के आरोप थे इसके खिलाफ वकीलों ने लम्बी हडताल की और फिर उनकी सेवानिव्र्त्ति के बाद ऐ के मिश्र को ही कार्यवाहक मुख्य न्यायधीश बनाया गया था लेकिन यहाँ पूर्णकालिक जज नही होने से प्रशासनिक मामलों में काफी दिक्कते हो रही थी राजस्थान में ४० जजों के मुकाबले केवले ढाई दर्जन जज हें जबके पुराने और नये मामले मिला कर लाखों ममले पेंडिंग चल रहे हें राजस्थान के कई पद अभी भी रिक्त पढ़े हें दिल्ली में वकील कोटे से जज बनाने की पत्रावलियां अटकी पड़ी हें , अब अगर मिश्र नये सिरे से रोस्टर बनाते हें तो निश्चित तोर पर राजस्थान की जयपुर और जोधपुर बेंचों में मामलों की त्वरित सुनवाई हो सकती हे । अख्तर खान अकेला कोटा राजस्थान

प्रशासनिक अधिकारी निकला जासूस

देश में भारतीय प्रशसनिक सेवा के एक अधिकारी जिसे गृह मंत्रालय में नियुक्त कर देश की सभी खुफिया ज़िम्मेदारी सोंपी गयी थी वोह अधिकारी देश की आस्तीन का सांप निकला , लेकिन देश की आंतरिक सुरक्षा एजेंसियों ने इसका पता लगा लिया और कल इन जनाब अधिकारी को गिरफ्तार कर लिय़ा।
दिल्ली के गृहमंत्रालय में वरिष्ट पद पर नियुक्त रविन्द्र सिंह जी महत्पूर्ण पदों पर रहे हें और हमारा वतन हमारे वतन के सुरक्षा दस्तावेजात इन जनाब को हवाले रहे लेकिन इन्होने इन दस्तावेजों और जानकारियों को सुरक्षित रखने की जगह पाकिस्तान को सुपुर्द कर दी अब देखिये देश के इन दुश्मनों को शीर्ष पद पर लाखों रूपये का प्रतिमाह वेतन और सुख सुविधाएं भोगने के बाद भी यह लोग देश के लियें जय चंद साबित हो रहे हें इसके पूर्व भी एक महिला अधिकारी को पकिस्तान एन भारत की जासूसी करने के मामले में गिरफ्तार किया जा चूका हे अब तो जब प्रधानमन्त्री से मुख्यमंत्री तक भ्रस्ताचार का बीज फलने फूलने लगा हे तो देश में एक बार फिर नये सिरे से अधिकरियों से लेकर मंत्रियों तक भ्रस्ताचार और फिर देश के प्रति वफादारी का नये सिरे से आंकलन जरूरी हो गया ताकि देश के दुश्मनों को बेनकाब कर देश में शुद्धिकरण अभियान चलाया जा सके । अख्तर खान अकेला कोटा राजस्थान

भाजपा की इज्जत तार तार फिर भी नहीं हे शर्म सार

बात बात पर कोंग्रेस से जुड़े लोगों से इस्तीफा मांगने वाली भाजपा इन दिनों अपनी इज्जत नहीं बचा पायी हे और येदियुरप्पा ने भाजपा के शीर्ष लोगों के साथ इंकार का बलात्कार किया हे , भाजपा के शीर्ष नेता और खासकर गडकरी जो भाजपा अध्यक्ष हें लगातार छोटी बढ़ी बाट पर विपक्ष के लोगों से इस्तीफे मांगते रहे हें और पिछले दिनों महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री अशोक चव्हान का इस्तीफा और ऐ राजा को हटाया जाना इसका प्रमाण हे के कोंग्रेस तो आरोप लगने पर ऐसे लोगों को पद से हटाती हे साथ ही पार्टी के यह लोग जिद नहीं करते हें । लेकिन दोस्तों भाजपा का क्या कहना कल भाजपा के अध्यक्ष नितिन गडकरी ने फरमान जारी किया के क्र्नातं के मुख्यमंत्री येदियुरप्पा सोमवार को ११ बजे सुबह तक इस्तीफा दे देंगे उन्होंने दुसरे मुख्यमंत्री की तलाश शुरू कर दी लेकिन सत्ता का मजा चखने के बाद कोन सत्ता छोड़ना चाहता हे इसलियें जनाब येदियुरप्पा इसितिफा नहीं देने की नाफरमानी कर दिल्ली पहुंचे और अपनी कुर्सी बचाने के प्रयास तेज़ कर दिए भाजपा में अधीनस्थ नेताओं से इस्तीफा मांगने पर ऐसे नेताओं द्वारा नाफरमानी कर बगावत करना कोई आम बात नहीं हे राजस्थान में भी पहले वसुंधरा से विपक्ष की नेता पद से इस्तीफा माँगा गया था तो उन्होंने ऐसे ही नाफरमानी की थी नतीजन भाजपा इतनी दबाव में हे के वसुंधरा को इस्तीफे के लियें राज़ी करने के बाद आज तक दो वर्ष गुजरने पर भी प्रतिपक्ष के नेता का नाम तय नहीं कर पायी हे । येदियुरप्पा भी यही चाहते हे वोह पहले पार्टी के नेताओं को अपनी ताकत बता कर इस्तीफे को रोकना चाहते हें और इस बीच वोह भ्र्ताकाहर के सबूतों को मिटा रहे हें आखिर में येदियुरप्पा चाहते हें के अगर कोई दुसरा मुख्य मंत्री ही बने तो कमसे कम वोह उनके इशारे पर नाचने वाला हो ताके वोह भ्रटाचार का खुला खेल चालू रख सकें और खुद को बाद में आरोपों से क्लीन चिट दिलवा सकें अब देखना हे अनुशासन हीनता से त्रस्त इस भाजपा के नेता इस समस्या से केसे निपटते हें यह तो वक्त ही बताएगा । अख्तर खान अकेला कोटा राजस्थान

पी जे थोमस पर कोंग्रेस की मुसीबत

देश में भ्रस्ताचार पर निगरानी रखने और कार्यवही के लियें ऐसे आदमी को इस संस्था का प्रधान बना कर केन्द्रीय सतर्कता आयुक्त बना दिया गया जिसके खिलाफ भी भ्रस्ताचार के गम्भीर आरोप हें , शर्म की बात तो यह हे के जनता और विपक्ष के एतराजों को कोंग्रेस हाईकमान और केंद्र सरकार ने नज़रंदाज़ किया नतीजन सुप्रीम कोर्ट को इस मामले में हस्तक्षेप कर सरकार से इस मामले में जवाब सवाल करना पहे।
इस देश के लियें इससे कलंकित करने वाली और क्या बात होगी के यहाँ देश भ्रस्ताचार में सराबोर हे और दूसरी तरफ देश में इसे नियंत्रित करने वाले ऐसे दागी सेवानिव्रत्त जेबी अधिकारी को प्रभारी बनाया गया हे जो देश के भ्रस्ताचार को नियंत्रित कर इसे उजागर कर लोगों को दंडित करवाएगा जी हाँ दोस्तों इस देश में कोंग्रेस ने कुछ ऐसा ही कर डाला हे पी जे थोमस जो पहले केरल सरकार में खाद्य सचिव थे और फिर ऐ राजा के साथ स्पेक्ट्रम घोटाला मामले के समय संचार सचिव थे उन पर भी सम्बन्धित लोगों के साथ पाम ऑयल घोटाले के साथ काफी भ्रस्ताचार के आरोप हे लेकिन सरकार इन सब आरोपों को नजर अंदाज़ कर ऐसे अधिकारी को इस पद पर बिठा कर पुरस्कृत करती हे अब जब सुप्रीम कोर्ट ने इस मामले में जवाब तलब किया हे तो सरकार से जवाब देते नहीं पढ़ रहा हे । सोनिया जी के लाडले मनमोहन जी घोटालों के बादशाह और भ्र्स्ताचारियों के संरक्षक कहे जाने लगे हें । अख्तर खान अकेला कोटा राजस्थान

कोटा के वकीलों की हड़ताल बनी मजबूरी

कोटा के वकीलों से सरकार द्वारा किये गये वायदे वक्त पर पूरा नहीं करने के कारण लगातार बातचीत के प्रयास असफल होने पर यहाँ के वकीलों के लियें अब हड़ताल करना मजबूरी बन गया हे ,वेसे कानून मंत्री शान्ति कुमार धारीवाल ने कोटा के वकीलों को एडवोकेट कोलोनी के लियें भूखंड देने और बाकी मांगों के मामले में मुख्य मंत्री महोदय से मिलवाने का आश्वासन दिया हे , लेकिन बार बार आश्वासन से कोटा के वकील खुद को ठगा महसूस करने लगे हें और आज कोटा के वकीलों की संघर्ष समिति की बैठक में एक राय होकर कोटा सम्भाग यानी कोटा, बूंदी झालावाड़ , बारां में वकील कल से हडताल पर जा रहे हें वकीलों का कहना हे की कल से तीन दिन की प्रतीकात्मक हड़ताल हे और आगर इसके बाद नतीजा नहीं निकला तो करो या मरो की तर्ज़ पर नहीं बलके मरो या मारो की तर्ज़ पर आन्दोलन होगा देखते हें के कोटा सम्भाग में हडताल का क्या रूप रहता हे क्योंकि इन दिनों कोटा में अब आगामी चालू वर्ष के लियें १५ दिसम्बर तक नई कार्यकारिणी के चुनाव होना हे । अख्तर खान अकेला कोटा राजस्थान

रात्रि कालीन अदालतें जनवरी से खोलने की तय्यरियाँ

देश में मुकदमों की निरंतर बढ़ रही संख्या को देखते हुए कानून मंत्रालय ने बार कोंसिल की सहमती से रात्री कालीन अदालतों को शुरू करने का प्रस्ताव तय्यार किया हे इस प्रस्ताव की क्रियान्विति जनवरी २०११ से करने की घोषणा की गयी हे । नये प्रस्ताव में कोटा ,जयपुर और जोधपुर सम्भाग को लिया गया हे जिसमे कोटा सहित सभी सम्भाग मुख्यालयों पर रात्रि ६ बजे से ९ बजे तक प्रयोग के तोर पर अदालतें खोले जाने की तय्यरियाँ हें इस प्रस्ताव में एक एडीजे स्तर के अधिकारी और एक त्वरित न्यायालय के अधिकारी रात्रि ६ से ९ बजे न्यायालयों में बैठेंगे जिसमे वारंट ट्राइल मामलों की सुनवाई होगी और एक लाख की सम्पत्ति के विवादों का निस्तारण किया जाएगा , यह अदालतें दिन में चलने वाली अदालतों के अतिरिक्त चलाई जायेंगी । लोगों का मानना हे के इस प्रस्ताव से कोटा सहित सभी अदालतों के मुकदमों के बोझ कम होंगे। देखते हें यह प्रस्ताव क्रियान्वित होता भी हे या नहीं और अगर क्रियान्वित होता हे तो किस तरह से होता हे यह तो वक्त ही बताएगा फिलहाल इसकी सहमती हो गयी हे । अख्तर खान अकेला कोटा राजस्थान
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