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28 नवंबर 2010

देश का काला धन वापसी के मामूली से प्रयास

देश में केन्द्रीय वित्त मंत्री प्रणव मुखर्जी ने कल देश का काला धन जो विदेश में खासकर स्विस बेंक में रखा हे इसे मंगाने के प्रयासों की पहल की हे इस मामूली से पहल में केवल इस बाबत सर्वेक्षण की घोषणा की गयी हे ,देश में १९८५ में देश का काला धन कहां गया और इसे खान जमा किया गया हे इसे देश में वापस केसे लाया जाए इसका पहला सर्वेक्षण खुद राजिव गाँधी ने करवाया था उसके बाद जब रिपोर्ट आई तो देश सकते में आ गया हमारे देश के कला बाजारियों का खरबों रुपया विदेश में सुरक्षित जमा था हमारे इस धन को देश में वापस लाने के लियें लगातार आवाजें उठती रही हें लेकिन निजी सर्वेक्षणों के तहत सरकार में और प्रभावशाली पदों पर बेठे लोगों का ही धन विदेश में हे तो फिर वोह खुद इस धन को देश में लाने की व्यवस्था केसे कर सकते हें एक सवाल उठ खड़ा हुआ था । हल ही में दो वर्ष पूर्व जब लोकसभा चुनाव हुए तो कोंग्रेस के चुनावी एजेंडे में वायदा था के सरकार चुनाव जीतने पर सो दिनों में देश का काला धन जो विदेशों में जमा हे उसे देश में लाने के प्रयास तेज़ करेगी , इस सरकार में देश का विदेश के बेंकों में जमा काला धन वापस मंगाना तो दूर देश के ही सफेद पाशों ने देश में ही काला धन जमा करना शुरू कर दिया और सोने की कालाबाजारी कर वायदा व्यापार से सोने और चंकी के भाव आसमान पर चढा दिए । संसद में प्रतिपक्ष के नेता लालकृष्ण अडवानी ने सरकार की इस सो दिन में काला धन वापसी की वायदा खिलाफी पर ऊँगली उठायी हे और कहा हे के सो दिन की जगह आज पांच सो दिन गुजर गये लेकिन अब तक कला धन वापसी का कोई प्रयास नहीं किया गया हे कल केवल प्रणव मुखर्जी ने एक सर्वेक्षण की अखबारी घोषणा की हे देखते हें इसकी क्रियान्विति कब होती हे । अख्तर खान अकेला कोटा राजस्थान

कोटा की आंगन बाड़ी में हलवा

कोटा सहित २२ आंगन बाड़ी केन्द्रों पर अब बच्चों को हलुवा उप्पम खाने को मिलेगा यह फेसला कल यहाँ आयोजित आंगन बाड़ी कार्यकर्ताओं की बैठक में लिया गया । यह कार्यवाही आंगन बाड़ी योजना के प्रति जनता के लगाव को बढ़ाने के लियें की जा रही हे , कोटा में आँगन बाड़ी मंत्री बीना काक प्रभारी मंत्री भी हें इसलियें कोटा की आँगन बाड़ी व्यवस्था को वोह सूधारने में लगी हे इसी बात को ध्यान में रखते हुए कोटा में यह सुधार और आकर्षण कार्यक्रम शुरू किये गये हें अब इस व्यवस्था से आँगन बाड़ी की तरफ कच्ची बस्तियों के गरीब और उपेक्षित बच्चे आकर्षित होंगे और आम जनता तक इस योजना का लाभ पहुँचाने के सफलतम प्रयास हो सकेंगे वेसे अभी तक इस योजना का अधिकतम लाभ आंगन बाड़ी कार्यकर्ता खुद अपने लियें उठा रहे हें इसलिए इसकी आकस्मिक जांच के भी विशिष्ट प्रावधान होना चाहियें । अख्तर खान अकेला कोटा राजस्थान

गोशाला में गायों की म़ोत पर राजनीति

कोटा में नगर निगम बोर्ड द्वारा संचालित गोशाला में रख रखाव के अभाव में रोज़ बेमोत मर रही गायों के मामले में राजनीती गरमा गयी हे पिछले दिनों गोशाला में सैट दिन में १५० के लगभग गायों की म़ोत को भाजपा ने गम्भीरता से लिया और कल महिला विधायक चन्द्रकान्ता मेघवाला अपने कार्यकर्ताओं के साथ गोशाला जा पहुंची वहन की अव्यवस्था और गायों के पड़े शवों को देख कर वोह चीख पढ़ी , गए गंदगी में पढ़ी तडप रही थीं मरत गायों के शवों को उठाया नहीं गया था २७ कर्मचारियों की हाजरी दर्ज होने के बाद भी वहन केवल ५ कर्मचारी उपस्थित थे गायों को उठाने वाला ठेकेदार गायब था और शव स्धंध मरने लगे थे इस पर भाजपा के कार्यकर्ता भडक गये और उन्होंने कोंग्रेस नगर निगम बोर्ड को गायों का हत्यारा करार दे दिया कोंग्रेस ने पलटवार करते हुए भाजपा बोर्ड कार्यकाले में हजारों की संख्या में मरने वाली गायों की खानी दोहराई आरोप प्रत्यारोप के बीच तीन गए तडप तडप कर उनके सामने ही मर गयी अब ५० लाख रूपये खर्च होने के बाद भी अगर गायों का रख रखाव सही नहीं हो कर्मचारी हरी लगाकर गायब रहें और गायें मरने के बाद बदबू मारती रहें तो फिर व्यवस्थाओं को क्या कहेंगे लेकिन यह कोटा नगर निगम हे जो पहले जनता के लियें नगर निगम थी अब गौ माता के लियें भी नगर निगम बन गयी हे । अख्तर खान अकेला कोटा राजस्थान

सफेद पोश अपराधी जेल से अस्पताल में

कोटा में पुलिस महा निरीक्षक राजिव दासोत ने बढ़ी महनत से सफेदपोश अपराधी दुष्यंत मेहता को गिरफ्तार करवाया और फिर उसे जमानत ख़ारिज होने के कारण जेल भी हुई लेकिन कोटा की जेल किसी सफेद पोश प्रभावशाली के लियें नहीं गरीबों के लियें बनी हे , अपराधी दुष्यंत मेहता जो लगातार स्वस्थ था जेल जाते ही वोह बीमार हुआ एक स्वस्थ आदमी को कोटा जेल के डॉक्टरों ने बीमार घोषित किया और फिर उसे कोटा के बड़े अस्पताल में इलाज के लियें भेज दिया जहाँ अपराधी जिसे अदालत की मंशा जेल भेजना थी वोह फाइव स्टार की सुविधाए भोग रहा हे राजस्थान में जेल मेनुअल के प्रावधान के तहत किसी भी मरीज़ का मेडिकल बोर्ड से मुआयना होने के बाद जब इस बात की तस्दीक हो जाये के मरीज़ बीमार हे जब खी जाकर उसे जेल से अस्पताल और फिर सिटी अस्पताल में भर्ती करना का प्रावधान हे लेकिन गाँधी जी की फोटू छपे रंग बिरंगे नोटों की नुमाइश करने वाले प्रभावशाली लोगों के लियें जेल और अस्पताल प्रशासन यह सब कानून तोड़ देता हे यही काम कोटा के बिल्डर भू माफिया दुष्यंत मेहता के मामले में भी हुआ हे अब कोटा पुलिस और अदालत क्या करे जो अपराधी हे वोह गिरफ्तार होकर भी जेल में नहीं हे और सिस्टम के भ्रस्ताचार की वजह से जेल में होने की जगह अस्पताल के नाम पर फाइव स्टार सुविधाएँ भोग रहा हे । अख्तर खान अकेला कोटा राजस्थान

कोटा में निगम का जजिया कर रजिस्ट्री महंगी

कोटा में सम्पत्ति खरीद फरोख्त और रजिस्ट्री अब महंगी हो गयी हे यहाँ नगर निगम ने आम जनता र रजिस्ट्री जजिया कर लगाया हे अभी कोटा में ६ फीसदी रजिस्ट्री शुल्क लगता था लेकिन अब रजिस्ट्री शुल्क का दस प्रतिशत नगर निगम को जजिया कर के रूप में देना होगा । कोटा नगर निगम द्वारा यह गेर कानूनी वसूली आज से ही शुरू हो गयी हे कोटा में वेसे ही पेट्रोल और दूसरी वस्तुओं पर निगम अतिरिक्त कर वसूल कर जेबें भर रही हे और फिर इस रकम का इस्तेमाल भी सही नहीं होने से जनता परेशान हे निगम विभिन्न करों से वसूल इस राशी का नी उपयोग और भ्रस्ताचार के लियें दुरूपयोग कर रही हे । कोटा में इस शुल्क के खिलाफ भाजपा भी कोंग्रेस और निगम प्रशासन के साथ मिल गया हे यही वजह रही हे के इस अचानक चोथ वसूली के खिलाफ भाजपा ने कोई उज्र दारी नहीं उठायी हे और ना ही कोई आन्दोलन वगेरा कर इसे रुकवाने का प्रयास किया हे कोंग्रेस और भजपा की इस सुनारी लड़ाई में कोटा की बेचारी जनता पिस रही हे लुट रही हे और दोनों पार्टियों के नेता मजे कर रहे हें । अख्तर खान अकेला कोटा राजस्थान

kt

कोटा के आई जी के ट्रांसफर का रेंज में अफ़सोस

कोटा रेंज में सफलतम कार्य कर गुंडों को नियंत्रित करने वाले आई जी राजिव दासोत को अचानक कोटा से जयपुर रेंज में आई जी पद पर लगाये जाने पर कोटा रेंज की जनता सकते में आ गये हे कोटा की जनता को नियमित आई जी की जनसुनवाई से लगातार राहत मिल रही थी हाल ही में राजिव दासोत ने एक पीड़ित परिवार की शिकायत पर एक बिल्डर और एक साथी पुलिसकर्मी के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया था यह पुलिस कर्मी और बिल्डर प्रभावशाली लोगो में से एक हे खुद पुलिसकर्मी अधिकतम वरिष्ट पुलिस अधिकारीयों का खसम खास रहा हे ऐसे गम्भीर काम कर जनता को तत्काल राहत दिलाने वाले आई जी का अचानक ट्रांसफर कता रेंज की जनता के गले नहीं उतर रहा हे वेस्ट तो अधिकारीयों का ट्रांसफर एक सतत प्रक्रिया हे लेकिन बिना किसी कारण और राजनितिक दबाव में अगर को ट्रांसफर हो तो फिर जनता को ऐसे मामलों में हस्तक्षेप करने का पूरा अधिकार होना चाहिए । दासोत ने कोटा रेंज में प्रभावशाली अपराधियों और गुंडों की नाक में नकेल डाल कर उन्हें जेल का रास्ता दिखाया था बस इसीलियें दासोत प्रभावशाली अपराधियों और भू माफियाओं की आंख की किर किरी बन गये थे , अब कोटा में नये आई जी दलपत सिंह दिनकर होंगे वेसे दिनकर कोटा में पहले दी आई जी कोटा रेंज रह चुके हें वोह बूंदी के पुलिस अधीक्षक भी रह चुके हें लेकिन अब देखना हे के ओह कोटा की पुलिसिंग को केसे संभाल पाएंगे , आई जी राजिव दासोत को जयपुर आई जी लगाया गया हे वहां शीघ्र ही कमिश्नर प्रणाली लागू होने वाली हे कुल मिला कर कोटा रेंज की जनता दासोत के अचानक ट्रांसफर से खुद को असुरक्षित महसूस कर रही हे जबकि गुंडे बदमाशों और प्रभावशाली सफेद पोश अपराधियों ने कल रात को इस खबर के बाद जश्न मनाया हे । अख्तर खान अकेला कोटा राजस्थान

अल्लाह ,भगवान,गोड

कोन कहता हे
अल्लाह,भगवान,गोड
नहीं होता
जब जब भी
आती हे
मुसीबत
तुम पर
बस
तुम्हारे
और तुम्हारे चाहने वालों के
दिल में रोम रोम में
बस और बस
यही तो होता हे ।
अख्तर खान अकेला कोटा राजस्थान

इलाही रास्ता बता दे

इलाही
यह क्या हुआ
जो रूठ कर गया हे
मुझे
फिर से
उससे मिला दे ,
ना मिला सके
तो ताकत इतनी दे
के हम
उसे
भुला सकें
इतना भी तू ना कर सके
बस इतना कर दे
के वोह
हमारी यादों
और ख्वाबों में
ना आ सकें ।
अख्तर खान अकेला कोटा राजस्थान

थोडा समझ लें .....

खुद की इज्जत करवाना हे
तो दूसरों की इज्जत कीजिये
खुद बा खुद आपकी इज्जत हो जायेगी।


बुरे लोगों में
उठने बेठने से
अकेला पन
यानि अख्तर खान अकेला का अकेला पन
बेहतर होता हे।



बेकार बातें करने से
बेहतर
खामोश
रहना ही अच्छा हे
यह सब बातें हें जो बुज़ुर्ग कह गये
लेकिन में या आप कोई भी शायद
इन बैटन को जान कर समझ कर सही मानकर
भी इनकी पालना करना मुनासिब नहीं समझते हें
और फिर समाज की तस्वीर जो हे
हमारे सामने हे .............
अख्तर खाना अकेला कोटा राजस्थान

जज अंकल पर सुप्रीम कोर्ट भडकी

इलाहाबाद हाईकोर्ट के एक फेसले के खिलाफ सुनवाई करते वक्त फेसले में जब मनमानी और पक्षपात की गंध सूंघने को मिली तो जस्टिस काटजू और ज्ञान सुधा मिश्रा ने फेसला उलटते हुए इलाहाबाद हाईकोर्ट में गंदगी फेलने की टिप्पणी करते हुए इसकी सफाई करने की सलाह दे डाली । कानून मंत्री वीरप्पा मोइली कल राजस्थान में इस मामले की गम्भीरता समझ कर आश्वासन देकर गये हें के अगर सुप्रीम कोर्ट की टिप्पणी में किसी का नाम हुआ तो कार्यवाही की जाएगी , लेकिन रिटायर्ड सुप्रीम कोर्ट जजों ने इस टिप्पणी को बेमानी करार दिया हे उनका कहना हे के कहीं भी अगर भ्रष्टाचार हे तो उस मामले में नामजद टिप्पणी करना चाहिए और अगर नामजद टिप्पणी नहीं हे तो फिर किस के खिलाफ कार्यवाही हो कुछ नहीं कहा जा सकता और ऐसी टिप्पणियाँ गेर वाजिब हें जो केवल सनसनी फेलाने के लियें हो जिन का कोई सार नहीं हो यह विवाद तो अपनी जगह हें लेकिन देश की सभी हाईकोर्ट जजों के बच्चों और रिश्तेदारों के मामले में संदेह के घेरे में जरुर आये हें और अंकल जज के नाम से कुछ लोगन ने इसे प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष व्यापार बना लिया हे इसलियें अगर रिश्तेदार और जजों की कोल डिटेल निकले तो बस खुद ही सार समझ में आ जायेगा या किस वकील के पक्ष में किस जज ने कितने फेसले लगातार दिए इससे भी पोल खु जाती हे लेकिन ऐसी जांच का अभी तक कोई कानून नहीं बना हे इस कारण अंकल जजों और भतीजे वकीलों के मजे हें अगर इन मामलों की जांच के लिए प्र्भाव्शालाई कोई योग बन जाये तो बस तस्वीर ही दूसरी होगी जो होना चाहिए । अख्तर खान अकेला कोटा राजस्थान
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