आपका-अख्तर खान

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02 दिसंबर 2010

चाँद ने सूरज को जगाया

देखो सोते हुए
चाँद को
कुछ
सूरज ने
इस तरह जगाया हे
चाँद की
अलसाई आँखों में
जगमग जग सारा हे
चमक कितनी हो चाँद की
लेकिन फिर भी
धब्बा सा जो इस पर लगा हे
वोह धब्बा आज सबसे प्यारा सबसे न्यारा हे ।
अख्तर खान अकेला कोटा राजस्थान

विश्व एड्स दिवस पर रोटरी ने बच्चों की पहचान दिखाई

कल विश्व एड्स दिवस था इसलियें सभी संस्थाओं ने सरकार या विदेश से मदद लेकर कुछ राशि खर्च करने का कार्यक्रम बनाये किसी ने एड्स से सावधानी के तोर तरीके बताये तो किसी ने एड्स से बचाव के लियें लोगों को जागरूक किया सरकार ने भी कुछ दिखावे के लियें कार्यक्रम किये ,लेकिन रोटरी क्लब के कुछ लोग ऐसे थे जिन्होंने सरकार के रिकोर्ड में जिन बच्चों के नाम आज तक दर्ज नहीं हे उनमे से ३५ बच्चों को एड्स रोगी के रूप में चिन्हित किया और इन सभी बच्चों के साथ फोटो खिचवाये इन बच्चों के नाम उजागर किये पहचान बताई और ताज्जुब इस पर हे के अधिकतम डॉक्टरों वाली इस संस्था ने एड्स से प्रभावित बच्चों को स्वाइन फ्ल्यू की दवा पिलाई इन संस्था वालों ने अपनी इस कारगुजारी के लियें कोटा के चिक्तिसा अविभाग से कोई स्वीक्रति नहीं ली इस मामले में जननायक के मुख्य संवाददाता और कोटा प्रेस क्लब के अध्यक्ष धीरज गुप्ता तेज को जब जानकारी मिली तो चिकित्सा अधिकारी ने तो साफ तोर पर कहा के स्वाइन फ्ल्यू की कोई भी दवा उनकी पूर्व स्वीक्रति के नहीं पिलाई जा सकती उन्होंने एड्स पीड़ित बच्चों के नाम पहचान फोटू भी कहीं उजागर नहीं किये जा सकते इस मामले में कानून बताया जब धीरज भाई ने रोटरी क्लब वाओं को इस मामले में कानून का आयना दिखाया तो इन संस्था वालों ने बड़ी बेशर्मी से कहा ठीक हे साहब बच्चों का फोटो मत छापना लेकिन ऐसी संस्थाएं जो देश और विदेश में अरबों खरबों वाली संस्थाएं हें उसके पदाधिकारियों की यह बचकानी हरकत धीरज भाई पत्रकार ने अपने अख़बार में प्रकाशित कर दी हे अब देखते हें प्रशासन और अधिकारी ऐसे लोगों को सबक सिखाने के लियें किया कुछ करता हे । अख्तर खान अकेला कोटा राजस्थान

शिविरों की अचानक जाँच पड़ताल

राजस्थान में प्रशासन गाँव की तरफ हे और इस कार्यक्रम की अचानक जांच के लियें मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने घोषणा की हे के वोह कभी भी कहीं भी अचानक जा सकते हे बस इसी लियें मुख्यमंत्री जी अचानक कोटा के ग्रामीण इलाके में आ गये और हाल चाल पूंछे और चल दियें , जनता ने कहा यह क्या तमाशा यह केसा आकस्मिक निरिक्षण एक मुख्यमंत्री अगर अचानक बिना किसी सुचना के गुप्त तरीके से पहुंचे और फिर निरिक्षण हो तो उसे प्रशासन गाँव की तरफ हे या नहीं इसकी सच्चाई का पता लगेगा लेकिन एक मुख्य मंत्री जी घोषणा तो आकस्मिक निरिक्षण की करें और फिर पहले जिला प्रशासन को सुचना दें फिर अख़बारों को सुचना दें याने एक एक व्यक्ति को इसकी सुचना हो और खुद मुख्यमंत्रीजी हेलिकोप्टर से पहुंचे तो भाई यह केसा आकस्मिक निरिक्षण सब कुछ तो ढिंढोरा पहले ही पित गया जो लोग गलत करते हें वोह पहले ही सुधर जाते हे और मुक्यमंत्री जी को क्रत्रिम प्रदर्शन कर गलत तस्वीर दिखाकर गुमराह करते हें ऐसे आकस्मिक निरिक्षण का क्या फायदा अगर एक भी निरिक्षण मुख्यमंत्री जी भेस बदल कर खुद को छद्म नाम से अचानक स्टिंग ओपरेशन की तरह अधिकारियों के सामने अचानक पहुंच कर पेश करें तो उन्हें उनके राज्य के प्रशासन की सही तस्वीर खुद बा खुद नजर आ जायेगी लेकिन ऐसे राजा इस लोकतंत्र में आज कहां हे भाई। अख्तर खान अकेला कोटा राजस्थान
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