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19 जनवरी 2011

कोटा के प्रख्यात कवि रघुनाथ मिश्र

जनकवि रघुनाथ मिश्र की दिल्‍ली-मेरठ-झाँसी की सांस्‍‍‍कृतिक व साहित्यिक यात्रा

कोटा। प्रख्‍यात जनकवि-रंगकर्मी वरिष्‍ठ साहित्यकार श्री रघुनाथ मिश्र ने अपने दिल्ली-मेरठ के दस दिवसीय निजी, साहित्यिक एवं सांस्कृतिक प्रवास से लौट कर जलेस के सदस्यों को अपनी सामान्य बैठक में मेरठ में स्थापित एवं कार्यरत यूनाइटेड प्रोग्रेसिव थियेटर एसोसिएशन (अप्टा) के संगीतकार, साहित्यकार और रंगकर्मी एवं सेना के वरिष्ठ पदाधिकारियों श्री अनिल कुमार शर्मा आईएडीएस, सहायक नियंत्रक रक्षा लेखा (पेंशन वितरण) और श्री एस एन वत्सल साहित्यकार एवं प्रख्यात एंकर के साथ अपनी महत्वपूर्ण मुलाकात की विस्तार से चर्चा की।

मिश्र ने उक्त प्रवास में साहित्यिक, सांस्कृतिक और रंगकर्म से सम्बंधित उक्‍त प्रख्यात हस्ताक्षरों से मुलाकात को अविस्मरणीय बताया। उनके साथ हुई सार्थक-यादगार चर्चा से मिले अमूल्य अनुभवों को बताया। राष्ट्रीय स्‍तर पर साहित्यिक-सांस्कृतिक संदर्भों में अपेक्षित प्रयासों के अभाव में संभाव्य रिक्तता और क्षरण पर चिंता व्यक्त करते हुए श्री शर्मा और श्री वत्सल के मूल्य आधारित संगीत, साहित्य और रंगकर्म के राष्ट्रीय स्तर पर सार्थक और प्रभावी बनाकर उसे सामाजिक रूपांतरण की दिशा में प्रेरणात्मक-अनुकरणीय बनाने व देशभर के शब्द शिल्पियों, कलाकारों के बीच एकता व प्रेरक संवाद कायम करने व अपने महान् दायित्व निर्वहन में जुटने-जुड़ने के लिए प्रोत्साहित करने के अथक प्रयासों और अप्टा की गतिविधियों की भूरि-भूरि प्रशंसा की। ज्ञातव्य है कि इप्टा की दयनीय दशा के चलते उसकी तर्ज पर अप्टा उत्तर प्रदेश में अपनी एक जगह बना रहा है।

जलेस प्रकाशन कोटा से अब तक प्रकाशित सभी 13 काव्य संग्रहों के प्रकाशनों की महत्ता पर महानुभावों व उनके कतिपय साथियों के साथ चर्चा करते हुए स्वयं के हिन्दी-उर्दू ग़ज़ल संग्रह ‘सोच ले तू किधर जा रहा है’, हाड़ौती के जनवादी कवियों की प्रतिनिधि रचनाओं के संग्रह ‘जन जन नाद’,और प्रख्यात जनकवि, साहित्यकार, संगीतकार और क्रॉसवर्ड मेकर श्री गोपाल कृष्ण भट्ट ‘आकुल’ के काव्य संग्रह ‘जीवन की गूँज’ साहित्‍य उन्होंने उन्हें भेंट किया, जिसे पा कर वे अभिभूत हो गये। उक्त पुस्तकों में व्यक्त सार्थक कथ्य अनुकरणीय सुंदर और आकर्षक कलेवर में उनका प्रकाशन और समाज को बेहतर बनाने की रचनाकारों की प्रेरक भावनाओं की प्रशंसा करते हुए श्री शर्मा व श्री वत्सल ने मिश्र, आकुल और सदस्य साथियों के प्रयासों के लिए श्री मिश्र को बधाई दी। भेंट दी गयी पुस्तकों को पढ़ कर जनवाद की अमूल्य धरोहर पुस्तकों पर वे अपनी सार्थक समीक्षा भी श्री मिश्र को भेजेंगे, उन्होंने आश्वासन दिया।

मिश्र ने वहाँ चर्चा करते हुए राष्ट्रीय स्तर पर वैचारिक वर्चस्व के शिकंजे को विफल करने के लिए सांस्कृतिक प्रतिरोध के सभी प्रयासों में कोटा जलेस व अन्य संस्थाओं, व्यक्ति समूह के साथ कंधे से कंधा मिला कर सहयात्री-सहकर्मी की भूमिका में प्रभावी तरीके से साथ होने की अपनी अथक यात्रा के बारे में उन्हें बताया। इस यात्रा के अविस्मरणीय क्षणों, जन नाट्य मंच की उनकी रंगकर्म यात्रा, जलेस की स्थापना, कोटा जलेस, कोटा जलेस द्वारा दिये जा रहे ठाड़ा राही सम्मान, कोटा जलेस से जुड़े साहित्यकारों, कवियों, रचनाकारों के बारे में बताते हुए सन् 2008 में सृजन वर्ष मनाये जाने और 9 पुस्तकों के प्रकाशनों के ऐतिहासिक प्रयासों की भी उन्होंने चर्चा की। वर्तमान में आकुल व चक्रवर्ती के बहु आयामी व्‍यक्तित्‍व के बारे में भी उन्‍होंने श्री शर्मा व श्री वत्‍सल को बताया। कोटा में साहित्यिक गतिविधियों पर भी प्रकाश डालते हुए उन्होंने राजस्थान के हाड़ौती अंचल में चम्बल की अजस्र धारा के साथ-साथ साहित्‍य की बहती अविरल धारा के बारे में भी जानकारी दी। अखिल भारतीय स्तर के कवियों, साहित्यकारों, रचनाकारों की भूमि कोटा के बारे में भी उन्होंने विस्तार से उनसे चर्चा की और विशेष अभियानों में उन्हें कोटा आने का विशेष आग्रह करने व आमंत्रित करने का दृढ़ आश्वासन भी दिया।

अंत में मिश्र ने दिल्ली-कोटा जन नाट्यमंच द्वारा स्थापना से लगायत अब तक की गाँव-गाँव, शहर-शहर, ढाणी-ढाणी में अपने राष्ट्र, समाज हित में जन जागरण के लिए अपनी अनेकों नाट्य प्रस्तुतियों से असंख्य दर्शकों पर सार्थक प्रभाव की चर्चा करते हुए बताया कि कोटा में वे जन नाट्य मंच के संस्थापक रहे हैं और मजदूर आंदोलनों से लंबे समय तक जुड़े रहे हैं। आज भी वे अधिवक्‍ता होने के नाते उनके हितों के लिए सहयोग देने में पीछे नहीं हैं। पिछले दिनों पूरे एक माह तक सफ़दर हाशमी मेमोरियल ट्रस्ट दिल्ली द्वारा अमेरिका में सैंकड़ों नाट्य मंचनों की चर्चा की तो माहौल उत्साह से भर गया । अप्टा के पदाधिकारियों के मध्य वे जनवाद के हुतात्मा सफ़दर हाशमी के बारे में बताने से नहीं चूके। अप्टा के पदाधिकारियों ने सफ़दर हाशमी की 1989 में उत्त‍र प्रदेश के साहिबाबाद में नुक्कड़ नाटक के मंचन के दौरान शहादत को भी श्रद्धा से याद किया।

मिश्र ने कोटा व राजस्थान के अमन पसंद कलमकारों-कलाकारों की ओर से श्रेष्ठ प्रयासों में सभी सम्भव-सार्थक सहयोग का आश्वासन दिया और शीघ्र ही एकजुट प्रभावी अभियानों की शुरुआत की अपील की। अप्टा के सभी उपस्थित सदस्यों ने हाड़ौती के रचनाकारों और जलेस परिवार को साधुवाद दिया और आगे ऐसे ही नये राष्ट्र हित, समाज हित, जन जन के लिए किये जाने वाले कार्यों, अभियानों व प्रकाशनों में बढ़-चढ़ कर सहयोग देने का आश्वासन दिया। मिश्र ने भी सेना के लिए अथक परिश्रम के साथ-साथ जनहित में लगे अप्टा के अधिकारियों को साधुवाद दिया और अपनी इस यात्रा को एक मायनों में ऐतिहासिक बताया।

स्व0 मिथलेश रामेश्वर प्रतिभा सम्मान से सम्मानित हुए

इसी दौरान मेरठ में उन्हें दिल्ली के ‘हम सब साथ साथ’ पत्रिका के श्री किशोर श्रीवास्ताव से स्व0 मिथलेश रामेश्वर प्रतिभा सम्मान के लिए चुने जाने का शुभ समाचार मिला। दस दिवसीय अपनी महत्वपूर्ण इस साहित्यिक और सांस्कृतिक यात्रा के साथ-साथ प्रतिभा सम्मान के लिए चुने जाने के अविस्मरणीय क्षणों को सहेज कर उर्जस्‍वी बन वे कोटा लौटे और जलेस पदाधिकारियों आकुल, चक्रवर्ती और डॉ0 नलिन को सम्‍मान के बारे में अवगत कराया।

प्रतिभा सम्मान के लिए श्री मिश्र 28 नवम्बर को कोटा से झाँसी के लिए रवाना हुए। वहाँ उन्हें माननीय प्रदीप जैन ‘आदित्य', केंद्रीय ग्रामीण विकास राज्य मंत्री द्वारा स्मृति चिह्न, प्रशस्ति पत्र और शाल उढ़ा कर सम्मानित किया गया। साथ ही डाकुओं से साहसपूर्वक सामना कर विकलांग बनी दिलेर एक महिला को भी समारोह में सम्मानित किया गया। बुंदेलखंड महाविद्यालय के समीप आई एम ए भवन में आयोजित इस भव्‍य समारोह में झाँसी के विधायक श्री कैलाश साहू, अरुण श्रीवास्तव व ‘हम सब साथ साथ’ के सम्पादक श्री किशोर श्रीवास्तव भी उपस्थित थे। दिल्‍ली की पत्रिका 'हम सब साथ साथ' प्रायोजित स्व0 मिथलेश रामेश्वर प्रतिभा सम्मान 2009 से प्रतिवर्ष एक पुरुष और एक महिला साहित्यिक और सांस्कृतिक प्रतिभा को दिया जाता है। 2010 के इस प्रतिभा सम्मान को प्राप्त करने वाले श्री मिश्र दूसरे और झाँसी के ही युवा साहित्यकार सुधीर गुप्ता 'चक्र' त्तीसरे प्रतिभाशाली रचनाधर्मी एवं रंगकर्मी है। इस प्रतिभा सम्मान से मिश्र ने हाड़ौती का ही नहीं, राजस्थान को भी गौरवान्वित किया है। अपनी संक्षिप्त झाँसी यात्रा के बारे में उन्होंने बताया कि अखिल भारतीय कायस्थ समाज 'चित्रांश ज्योति' के तत्वावधान में हर वर्ष कायस्थ समाज के प्रतिभावान् छात्र छात्राओं का एक भव्य समारोह में अभिनंदन किया जाता है। यह प्रतिभा सम्मान दिल्ली की द्विमासिक पत्रिका ‘हम सब साथ साथ’ के सौजन्य से श्री मिश्र को दिया गया। समारोह में विशिष्ट अतिथि श्री करुणेश श्री वास्तव, डिप्‍टी सी एम ई (एनसीआर) रेल्वे कारखाना, झाँसी, अतिथि श्री हरिवल्लभ खरे, प्रान्तीय अध्यक्ष, अखिल भारतीय कायस्थ महासभा, श्रीमती रमा श्रीवास्तव, डिस्ट्रिक्ट चेयर पर्सन, लायनेसेस मूवमेंट, राष्ट्रीय ब्यूरो चीफ, अधिवक्ता‍ कल्याण समिति, मेनेजिंग डाइरेक्टर मदर टेरेसा ग्रुप्स ऑफ स्कूल्स थे। समारोह की अध्यक्षता श्री संतोष कुमार श्रीवास्तव, प्रदेशीय अध्यक्ष, अखिल भारतीय कायस्थ महासभा, ललितपुर थे। समारोह में उत्कृष्ट कार्य करने वाले कायस्थ बंधुओं को सम्मानित किया गया। मेधावी छात्र-छात्राओं का भी अभिनंदन किया गया। सांस्कृतिक कार्यक्रम और फि‍ल्मी गीतों पर कायस्‍थ समाज के बालक बालिकाओं के नृत्यों ने समारोह में चार चाँद लगा दिये। पधारे अतिथियों, अध्यक्ष और श्री मिश्रा ने भी अपने विचार व्यक्त किये। श्री मिश्र ने समाज के साथ-साथ अखिल भारतीय स्तर पर प्रतिभावान् रचनाधर्मी और भारतीय धरा की संस्कृति से जुड़े रंगकर्मी और साहसी युवक युवतियों को प्रेरणा देने वाले इस कार्यक्रम की प्रशंसा की और भविष्य में इसे और भी सफलतायें मिलें, देश को कायस्थ समाज से ढेरों प्रतिभायें मिलें, जो राष्ट्र के विकास और उत्थान में अपना सहयोग दें, ऐसी शुभकामनायें दीं। जलेस के प्रकाशनों की प्रदर्शनी भी लगाई गई! लोगों ने सराहा। सहभोज के बाद श्री मिश्र ढेरों स्‍मृतियाँ सहेज कर कोटा लौटे। कोटा में जलेस सदस्‍यों ने उनका स्‍वागत कर बधाइयाँ दीं।
रिपोर्ट जलेस, कोटा। 9-12-२०१० दोस्तों यह रिपोर्ट सानिध्य पर प्रकाशित ब्लॉग से आदरणीय भाई रघुनाथ मिश्र के निर्देश और स्वीक्रति पर प्रकाशित की जा रही हे

लापरवाह मां को ४३ साल की केद

एक लापरवाह मां जो अपने बच्चों को तब में नहाता हुआ छोड़ कर फेसबुक पर गेम खेलने बेठ गयी और बच्चे की तब में डूब जाने से म़ोत हो गयी उसे ४३ साल की सा सुनाई गयी हे यह मामला हमारे भारत देश का नहीं बलके अमेरिका के न्यूयार्क का हे ।
न्यूयार्क में एक मां अपने निजी कामों में व्यस्त रह कर बच्चे को नहाने के लियें उसे तब में बिठा कर चली गयी और फिर फेसबुक पर ऐसी जा जमी के उसे बच्चे का ध्यान ही नहीं रहा जब वोह बहर गयी तो बच्चा तब के पानी में ही नहाते नहाते डूब चूका था और उसकी साँसें थम चुकी थी जब मां ने इस मामले में न्यायालय को अपनी लापरवाही का सच बताया तो अमेरिका के कानून के तहत इस महिला को इस अपराध के लियें ४३ साल की केद की सजा सुनाई गयी हे अब इस माँ ने लापरवाही से पहले तो बच्चा खोया बाक़ी जिंदगी इनकी जेल में कट रही हे । अख्तर कहां अकेला कोटा राजस्थान

सी पी जोशी की पंचायत खत्म सडक पर आ गये हें

राजस्थान के कोंग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष और वरिष्ट कोंग्रेसी नेता सी पी जोशी की केंद्र ने पंचायत खत्म कर दी हे और उन्हें सडक पर ला खड़ा किया हे अब वोह सडकों का काम देखेंगे।
केन्द्रीय मंत्रिमंडल के फेरबदल में सी पी जोशी को ड्रॉप किये जाने की अफवाह थी लेकिन उन्हें ड्रॉप नहीं किया गया और ग्रामीण विकास पंचायत से हटा कर भूतल परिवहन मंत्रालय उन्हें दिया गया हे उनका मंत्रालय देश के सबसे भ्रष्ट मुख्यमंत्री रहे व्यक्ति को दिया गया हे जो पहले महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री थे और आदर्श सोसाइटी घोटाले में उन्हें हटाया गया हे , खेर सी पी जोशी राजस्थान के लाडले हें और इन्होने राजस्थान के बल पर देश भर में अपनी साख बनाई हे इसीलियें सी पी जोशी राजस्थान में आज भी मुख्यमंत्री अशोक गहलोत से ज्यादा ताकतवर हें और यहाँ वर्तमान में महिला को प्रदेश कोंग्रेस अध्यक्ष बनाये जाने के निर्देशों के बाद सी पी जोशी अपने चहेते को इस पद पर बिठाने की जुगत में हे खेर सी पी जोशी ने केन्द्रीय मंत्रिमंडल में बने रहने की बढ़ी लड़ाई जीत ली हे अब उनका फॉक्स राजस्थान के प्रदेश कोंग्रेस अध्यक्ष पद की तरफ हे देखते हें आगे क्या होता हे ... । अख्तर खान अकेला कोटा राजस्थान

वेबसाईट पर राजस्थान के मंत्रियों के झूंठी सम्पत्ति सूचि होगी

राजस्थान के मंत्रिमंडल की बैठक में खुद को आदर्श मंत्रिमंडल साबित करने के प्रयासों में राजस्थान के मुख्यमंत्री ने सभी मंत्रियों को खुद की सम्पत्ति सार्वजनिक करने के निर्देश दिए हें और यह सम्पत्ति की सूचि अब वेबसाईट पर जारी की जाएगी , सब जानते हें के कोन मंत्री खुद के नाम से कितनी सम्पत्ति रखता हे सभी बेचारे गरीब होते हें वोह तो वेतन और भत्ते इतने हो जाते हें के जिन्हें दर्शाने के लियें उन्हें बेचारों को खुद की कुछ ना कुछ सम्पत्ति बताना मजबूरी होता हे वरना तो फिर सब बेकार हे ।
कहने को तो राजस्थान के मंत्री मंडल का यह निर्णय अनुकरणीय हे लेकिन अगर इस निर्णय में पुरे परिवार की सम्पत्ति का ब्यौरा माँगा जाए तो फिर तो मजा ही आजाये , गहलोत मंत्रिमंडल की बैठक में कल गहलोत ने सभी मंत्रियों को विवेकाधिकार कोटा भी खत्म करने का निर्देश दिया हे इस कोटे से मनमानी होती थी और भ्रस्ताचार भाई भतीजे वाद की शिकायतें आम होती थीं इससे सरकार को छुटकारा मिल जाएगा । अख्तर खान अकेला कोटा राजस्थान

कर्नाटक मुख्यमंत्री की चोरी और सीना जोरी

कर्नाटक के मुख्यमंत्री और उनके सहयोगी डंके की चोट पर भ्रस्ताचार कर रहे हें और इस भ्रस्ताचार की जांच भी नहीं होने दे रहे हें हालात यह हे के कथित रूप से खुद को राष्ट्रवाद से जुडी पार्टी कहने वाली भाजपा इस मुख्यमंत्री को लेकर सांसत में हे क्योंकि पहली बार पार्टी के किसी अध्यक्ष ने किसी को मुख्यमंत्री पद से हटाने की घोषणा की हो और वोह मुख्यमंत्री अपनी जिद से वापस इसी पद पर काबिज़ हो ।
भाजपा के मुख्यमंत्री येदुरप्पा की इस हरकत से भाजपा की तो साख गिरी ही हे लेकिन अब इन मुख्यमंत्री जी ने अपने आरोपों से बचने का एक रास्ता निकाला हे और खुद के खिलाफ कार्यवाही रोक देने के लियें राज्यपाल पर दबाव बना रहे हें , येदुर्प्प्पा भूमि घोटाले में फंसे हें उन्होंने इसके लियें खुद के बेटे और बहू को ज़िम्मेदार बताकर मुख्यमंत्री भवन से बाहर कर दिया हे लेकिन फिर भी वोह बेदाग़ नहीं हें और उनके खिलाफ मुकदमा करने के लियें लोगों ने स्वीक्रति चाहि हे बस येदुरप्पा के खिलाफ मुकदमा चलाए जाने की स्वीक्रति राज्यपाल नहीं जारी करें इसके लियें उन्होंने पहले तो राज्यपाल को पुचकारा राज्यपाल नहीं माने तो फिर फटकारा हालात काबू में नहीं देखे तो चोरी और सीना जोरी की हद देखिये के मंत्रिमंडल की बैठक बुलाकर सभी ने प्रस्ताव पार्टी के राज्यपाल जी को भेजा हे के मुख्यमंत्री येदुरप्पा जी के खिलाफ शिकायत पर मुकदमे की स्वीक्रति नहीं दी जाए अब यह राज्यपाल पर खुद के काले कारनामों पर पर्दा डालने के लियें दबाव नहीं तो और क्या हे ........... । अख्तर खान अकेला कोटा राजस्थान

देश के काले धन की जानकारी प्रधान मंत्री जी नहीं देंगे :: संसद को चलाने के लियें भूल सुधर का प्रयास

दोस्तों एक मनमोहन सिंह हें जो पहले किसी बेंक में कर्मचारी हुआ करते थे उनके अधिकारी उनसे मनचाहा काम करवाते थे अब यह मनमोहन सिंह कर्मचारी नहीं रहे हें विश्व के बेईमान भ्रष्टों के दोस्त बन गये हें और अब यह इन काले दिल के काले पेसे वालों को बचाने के लियें खुद की राष्ट्रीयता दाव पर लगाने को तय्यार हें ।
दोस्तों देश के कई नेताओं अधिकारीयों उद्ध्योग्पतियों ने जर्मनी में देश का काला धन अख्त्ता कर रखा हे और इस धन को वापस देश में लाने के लियें देश का बच्चा बच्चा कोशिशों में जुटा हे इस कोशिश का ही नतीजा था के जर्मनी ने भारत की सरकार को एक सूचि उपलब्ध करा दी इस सूचि में देश के काले धन को विदेशों में सुरक्षित रखने वाले गद्दारों के नाम शामिल हें देश की जनता इस सूचि को देखना चाहती हे इस धन को वापस देश में लाना चाहती हे लेकिन बेंक के पूर्व कर्मचारी मनमोहन सिंह यह सब करने को तय्यार नहीं हें उन्हें देश के कानून राष्ट्रीयता से कोई लेना देना नहीं हे केंद्र सरकार को इस मामले में देश के सुप्रीम कोर्ट ने पिछले दिनों जम कर फटकर लगाई लेकिन अचानक प्रधानमन्त्री खुल कर बोलने लगे के हम विदेश में देश के जमा रुपयों की सूचि सार्वजनिक नहीं कर सकते इससे विदेशी समझोतों पर असर पढ़ेगा मनमोहन के लियें देश से देश की आर्थिक स्थिति से ज्यादा जरूरी विदेशियों से किये गये वायदों की फ़िक्र हे हमारा देश जल रहा हे आर्थिक स्थिति बिगड़ी हुई हे कर्ज़ में डूबा हे और हमारे देश के रुपयों से विदेश और देश के गद्दार मजे कर रहे हें लेकिन प्रधानमन्त्री जी हें के कहते हें के हम यह रुपया देश में नहीं ला सकते हम इस सूचि को सार्वजनिक नहीं कर सकते अब बताओ के जब देश के प्रधानमन्त्री की खुद सुर्प्रिम कोर्ट के आदेश और जनता की भावना के बाद भी यह विचारधारा रहेगी तो फिर क्या देश को किसी गद्दार की जरूरत रह जाती हे नहीं ना .......... ।
संचार घोटाले में जे पी सी की अब याद आई
देश का सबसे बढा संचार घोटाला जिसकी जांच विपक्ष याने भाजपा संयुक्त संसदीय समिति से करवाने की मांग कर रही हे मांग वाजिब हे सरकार को यह मांग मां लेना चाहिए थी और दोषियों को सजा मिले इसके लियें देश की मदद करना चाहिए थी लेकिन देश की प्रधानमन्त्री और सरकार भ्रष्ट लोगों को बचाना चाहती थी इसलियें वोह जिद पर अड़ गयी और आवश्यक जे पी सी के गठन से इंकार कर दिया नतीजन विपक्ष अपनी वाजिब मनाग पर अड़ा रहा और संसद नहीं चली अब एक न्य मुद्दा काले धन का भी आ गया हे तो उसे दबाने के लियें प्रधानमन्त्री जी थूक के चाट रहे हें कह रहे हें हम जे पी सी के गठन और संसद में इस मामले पर चर्चा के लियें तय्यार हें प्रधानमन्त्री जी देश से बढ़ा ना तो आप हें ना आपकी सोनिया जी और ना ही आपके विदेश में बेठे वोह आका जिनके आपका रिमोट हे इसलियें प्लीज़ देश को सभी भ्रष्ट लोगों की आवश्यक जानकारियाँ दे दो ताकि देश ऐसे गद्दारों को सजा दे सके । अख्तर खान अकेला कोटा राजस्थान
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