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22 सितंबर 2011

पढिये चाँद शेरी की एक गजल ......

सहमी सहमी है सडक पर जिंदगी
हादसों ने की है दूभर जिंदगी ...
यूँ घिरी है दायरे में वक्त के
केद लगती है केलेंडर जिंदगी
रिस रहा है आदमी नासूर सा
सढ़ रही है कोड़ बन कर जिंदगी
हर तरफ गहरी नशीली साजिशें
बन गयी हर शाम तस्कर जिंदगी
झोंपड़ी में सांस लेना भी कठिन
और महलों में मुअत्तर जिंदगी
रह के उसने कातिल के शहर में
की बसर कलंदर जिंदगी ।
हों दिलों से दूर शेरी नफरतें
वरना होगी बद से बदतर जिंदगी ..........संकलन अख्तर खान अकेला कोटा राजस्थान

हंसने से बढ़ती है दर्द बर्दाश्त करने की क्षमता

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यूं तो हंसी कई रोगों का इलाज है लेकिन ठहाकेदार हंसी दर्दनिवारक दवा का काम करती है। शोधकर्ताओं ने ठहाकेदार हंसी पर 10 साल तक अध्ययन किया। शोध में पाया गया कि अगर हम 15 मिनट भी खुलकर हंसते हैं तो इससे हुई शारीरिक क्रियाओं से दिमाग में इंडोरफिन नामक रसायन का स्त्राव होता है। इस रसायन से दर्द पर काबू होने में मदद मिलती है और प्रसन्नता का अहसास होता है। लेकिन शोध में यह भी कहा गया है कि हंसी तभी फायदा पहुंचाती है जब हम खुलकर हंसे और मित्रों को भी शामिल करें। दूसरों के साथ महज 15 मिनटों की ठहाकेदार हंसी दर्द को बर्दाश्त करने की क्षमता को दस फीसदी तक बढा देती है।

शरीर का सुरक्षा कवच है अखरोट

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आमतौर पर फैट फूड खाने वालों को हार्ट अटैक होने की संभावना अधिक होती है।

शोधकर्ताओं का कहना है कि ऐसे लोग जिंदगी चाहते हैं तो अपने रोज के खाने में अखरोट को शामिल करें। क्‍योंकि अखरोट बैड कोलेस्‍ट्रॉल के साइड इफेक्‍ट को कम करता है। और आर्टरिज को क्षतिग्रस्‍त होने से बचाता है।

50 ग्राम अखरोट में 4 ग्राम सेचुरेटेड फैट पाया जाता है। यह फैट हार्ट के लिए ग्रीस का काम करता है।
यही नहीं इसमें एंटीऑक्‍सीडेंट, ओमेगा 3 फैट और अल्‍फा लिनोलिक एसिड पाया जाता है। जो कैंसर जैसी बीमारियों से बचाता है।

सुबह के नाश्‍ते में अखरोट को शामिल करें। इसे ब्रेन फूड भी कहा जाता है।

अखरोट बहुत जल्‍द खराब हो जाते हैं इसलिए इसे फ्रीज में स्‍टोर करें।

दुनिया भर में भारतीय शुक्राणुओं की हुई किल्लत

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विदेशों में रह रहे संतानहीन प्रवासी भारतीयों को भारतीय शुक्राणु नहीं मिलने से परेशान हैं। खबर है कि विश्व के शीर्षस्थ शुक्राणु बैंक ने कहा कि भारत द्वारा निर्यात प्रतिबंधित होने के कारण भारतीयों का शुक्राणु मिलना कठिन है।

समाचार पत्र डेली टेलीग्राफ की रपट के अनुसार क्रियोस इंटरनेशनल के एक अधिकारी ने बताया कि इससे संतानहीन प्रवासी भारतीयों को समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है।

बैंक द्वारा कम मांग के कारण लाल बालों वाले दाताओं को मना किया जा रहा है। क्रियोस के निदेशक ओले शाउ ने कहा कि हाल के वर्षों में इसके दानदाताओं की संख्या में वृद्धि हुई है जो मांग से काफी ज्यादा है।

लाल बालों वाले दानदाताओं की सबसे ज्यादा मांग आयरलैंड में है।

भूरे बालों एवं भूरी आंखों वाले दानदाताओं की मांग है क्योंकि बैंक के सबसे ज्यादा उपभोक्ता इटली, ग्रीस और स्पेन में हैं।

डेनमार्क स्थित क्रियोस 65 देशों में शुक्राणु भेजता है।

एसीबी टीम पर हमले के आरोप में सीआई सहित 6 पुलिसकर्मी गिरफ्तार

कोटा.रिश्वत के मामले में एसीबी की कार्रवाई के दौरान डीएसपी पर हमला करने के आरोपी महावीर नगर थाने के तत्कालीन सीआई रामनारायण मीणा सहित छह पुलिसकर्मियों को बुधवार देर रात गिरफ्तार कर लिया गया। मीणा अभी पुलिस लाइन के प्रभारी हैं।

इस घटना में एक एएसआई, दो हैडकांस्टेबल, 3 कांस्टेबल भी आरोपी हैं। हाईकोर्ट के निर्देश पर सीआईडी सीबी के आईजी की जांच में इन सबको दोषी पाया गया है।

यह घटना 31 जुलाई2009 की है। मामले में अगली सुनवाई 26 सितंबर को है। तलवंडी निवासी यशवीर सिंह ने एसीबी में शिकायत की थी कि तत्कालीन सीआई रामनारायण मीणा एक मामले को रफा-दफा करने के लिए 10 हजार रुपए की रिश्वत मांग रहे हैं। एसीबी के डीएसपी विशाल शर्मा 31 जुलाई की रात टीम के साथ कार्रवाई करने पहुंचे थे।

वे जब फरियादी यशवीर व सीआई रामनारायण मीणा को लेकर जा रहे थे तो महावीर नगर पुलिस के जवानों ने यशवीर पर हमला कर दिया था। बचाने आए डीएसपी शर्मा पर भी पुलिसकर्मी पिल पड़े थे।

सीआई रामनारायण मीणा, एएसआई जकीयुद्दीन, हैडकांस्टेबल बाबूलाल, जवाहर लाल, कांस्टेबल भूपालसिंह, किशन सिंह व मुरारी लाल ने उनके कागजात फाड़ने का प्रयास किया था और डीएसपी के साथ अभद्रता की।

इस मामले में डीएसपी शर्मा ने इन सबके खिलाफ महावीर नगर थाने में मामला दर्ज कराया था। दो साल तक स्थानीय पुलिस इस मामले में टालमटोल करती रही। एसपी ने रिश्वत लेने के मामले में सीआई मीणा को सस्पेंड कर दिया था।

उसके बाद हाईकोर्ट के आदेश के बाद वे वापस ड्यूटी आ गए। अभी वे पुलिस लाइन के प्रभारी हैं। फिलहाल ग्रामीण पुलिस लाइन में तैनात कांस्टेबल मुरारीलाल की गिरफ्तारी अभी बाकी है।

रिश्वत के मामले में फरियादी व मारपीट प्रकरण के चश्मदीद गवाह यशवीर सिंह ने हाईकोर्ट में याचिका लगाई और हाईकोर्ट से कार्रवाई किए जाने की मांग की। 21 जुलाई 2011 को हाईकोर्ट ने मामला सीआईडी सीबी के आईजी को दिया और दो माह में कार्रवाई करने के निर्देश दिए।

इस पर सीआईडी सीबी ने मामले की जांच की तथा आरोपियों को राजकार्य में बाधा पहुंचाने, मारपीट व सबूत नष्ट करने का दोषी पाया। इसकी रिपोर्ट बुधवार को एसपी प्रफुल्ल कुमार को दी। प्रफुल्ल कुमार ने महावीर नगर सीआई रणविजय सिंह को इस पर कार्रवाई कर जांच के आदेश दिए थे।

न्याय की जीत

फरियादी यशवीर सिंह ने सीआई रामनारायण की गिरफ्तारी के बाद कहा कि पुलिस अपने कर्मचारियों को बचाने की कोशिश कर रही थी। आखिरकार उन्हें कार्रवाई करनी पड़ी। इस कार्रवाई से न्याय की जीत हुई है।

पुलिसिया जुर्म की यह कहानी सुन कांप जाएगी आपकी रूह

नाथद्वारा/जयपुर।नगर के पुलिस थाने के सामने गुरुवार शाम मोची बाजार निवासी युवक जगदीश ने पेट्रोल छिड़क कर आत्मदाह का प्रयास किया। युवक की हालत गंभीर बताई गई है।

108 एम्बुलेंस के जरिये उसे राजकीय चिकित्सालय ले जाया गया, जहां प्राथमिक उपचार के बाद उसे उदयपुर रेफर किया गया। यह युवक नाथद्वारा थाना क्षेत्र का आदतन अपराधी है उसने बयानों में पुलिस पर प्रताड़ित करने का आरोप लगाया है।

पुलिस के अनुसार गुरुवार शाम 5 बजे मोची बाजार निवासी जगदीश मोची (35) अचानक पुलिस थाने के सामने पहुंचा व अपने ऊपर पेट्रोल छिड़क कर आग लगा ली। उसका शरीर 60 प्रतिशत झुलस गया। थाने में मौजूद कांस्टेबल ओमप्रकाश ने उसे बचाने की कोशिश करते हुए आग बुझाई।

झुलसे युवक ने अपने बयान में बताया कि स्थानीय झरना चौकी का स्टाफ आए दिन उसे परेशान करता रहता है तथा शाम को थाने में बुलाकर बंद कर सुबह छोड़ दिया जाता है। बाजार में भी बार-बार रोक कर प्रताड़ित किया जाता है। इससे दुखी होकर उसने यह कदम उठाया है। उसने इस संबंध में पुलिस उपअधीक्षक को भी शिकायत की, पर कोई कार्रवाई नहीं हुई।

आज का दिन है कुछ खास क्योंकि होने वाला है...

जोधपुर।सायन सूर्य के तुला राशि में प्रवेश पर शुक्रवार को दिन व रात बराबर होंगे। सूर्य उदय व अस्त होने का समय 6.19 बजे होगा। इससे दिन व रात दोनों 12 घंटे की अवधि के होंगे। पंडित ओमदत्त शंकर महाराज के अनुसार सायन सूर्य तुला राशि में दोपहर 2:35 बजे आएगा। यह शरद संपत कहलाता है। इसी को विषुवत दिन भी कहा जाता है।

इसके साथ ही सूर्य दक्षिण गोलार्ध में जाना शुरू हो जाएगा। सूर्य के दक्षिणी गोलार्ध में जाने से दिन छोटे होने लग जाएंगे व रातें बड़ी होने लगेंगी। पंडित विजय दत्त पुरोहित के अनुसार हर साल 21 मार्च व 23 सितंबर को दिन व रात बराबर होते हैं। 21 जून को दक्षिणी ध्रुव सूर्य से सर्वाधिक दूर रहता है। इसलिए इस रोज सबसे बड़ा दिन होता है, जबकि 22 दिसंबर को सूर्य दक्षिणायन से उत्तरायण की ओर प्रवेश करता है, इसलिए रात सबसे बड़ी होती है। खगोलविदों के मुताबिक 25 दिसंबर से दिन की अवधि बढ़ने लगती है।

क्या है दक्षिणी गोलार्धपृथ्वी की मध्य रेखा को भूमध्य रेखा अथवा विषुवत रेखा कहा जाता है। जब सूर्य इस रेखा के दक्षिण की ओर अग्रसर होता है तो इसे दक्षिणी गोलार्ध का सूर्य कहते हैं। जबकि उत्तर की ओर जाने पर उत्तरी गोलार्ध का सूर्य कहलाता है। दोनों की अवधि छह-छह महीने की होती है। खगोल वैज्ञानिकों के अनुसार पृथ्वी 24 घंटे अपनी धुरी पर घूमने के साथ एक वर्ष में सूर्य का चक्कर पूरा करती है। इसी तरह सूर्य ब्रrांड में परमेष्ठी मंडल अर्थात ब्लैक होल के चक्कर लगा रहा है, यह चक्कर 27 हजार वर्ष में पूर्ण होता है। इस बीच कभी-कभी अयनांश की गणना के कारण एक दिन आगे पीछे हो जाता है। इसी के चलते दिन रात की बराबर अवधि कभी 22 सितंबर को तो कभी 23 सितंबर को होती है।

कोर्ट की गुहार: आखिर क्यों खेला जा रहा है लोगों की जान से

जयपुर। हाई कोर्ट ने पिछले दिनों एसएमएस अस्पताल में हुई डॉक्टर्स की हड़ताल के मामले में चिकित्सा विभाग के प्रमुख सचिव, निदेशक व एसएमएस अस्पताल के अधीक्षक को कारण बताओ नोटिस जारी कर तीन सप्ताह में जवाब मांगा है।

मुख्य न्यायाधीश अरुण मिश्रा व न्यायाधीश एन.के.जैन (प्रथम) की खंडपीठ ने यह अंतरिम आदेश गुरुवार को राजेश कुमार शर्मा की पत्र याचिका पर दिया।

खंडपीठ ने सुनवाई के दौरान वरिष्ठ अधिवक्ता आर.एन.माथुर को मामले में न्यायमित्र नियुक्त किया। गौरतलब है कि पत्र याचिका में शर्मा ने डॉक्टर्स की हड़ताल को चुनौती देते हुए कहा कि उनकी हड़ताल के कारण मरीजों व उनके परिजनों को परेशानी होती है।

हड़ताल के कारण मरीजों का इलाज सही तरीके से नहीं हो पाता और उन्हें असुविधा होती है। ऐसे में डॉक्टर्स को हड़ताल मरीजों के जीवन के लिए घातक है और उन्हें हड़ताल पर नहीं जाना चाहिए क्योंकि डॉक्टर्स की हड़ताल गैरकानूनी है। गौरतलब है कि पिछले दिनों एसएमएस अस्पताल में रेजीडेंट डॉक्टर्स की हड़ताल के कारण मरीजों व उनके परिजनों को परेशानी हुई थी।

राज्य की पुलिस नाकारा व पक्षपाती है'

जोधपुर। एएनएम भंवरी देवी अपहरण मामले में हाईकोर्ट ने पुलिस की ओर से अब तक की गई जांच और उसके तरीके पर असंतोष जताया। हाईकोर्ट ने मामले की जांच सीबीआई को सौंपे जाने पर भी सवाल उठाया और सरकारी अधिवक्ता से पूछा कि सीबीआई जांच के लिए किसने पहल की? जब उन्होंने कहा कि निष्पक्ष जांच के लिए सरकार ने ही यह आदेश दिए हैं तो कोर्ट ने कहा-क्या सरकार ने मान लिया है कि उसकी पुलिस नाकारा व पक्षपाती है?
न्यायाधीश संगीत लोढ़ा व न्यायाधीश सीएम तोतला की खंडपीठ ने जोधपुर रेंज के पुलिस महानिरीक्षक को 26 सितंबर को व्यक्तिगत रूप से पेश होने तथा अब तक की जांच पर सफाई देने के आदेश दिए। गुरुवार को भंवरी के पति अमरचंद की ओर से दायर बंदी प्रत्यक्षीकरण याचिका पर सुनवाई थी। इस दौरान सरकार की ओर से प्रद्युम्न सिंह ने जवाब पेश किया।

साथ ही मामले के अनुसंधान अधिकारी अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक हिम्मत अभिलाष भी पेश हुए। खंडपीठ ने अभिलाष से जांच में ढिलाई को लेकर कई सवाल किए, लेकिन वे संतोषप्रद जवाब नहीं दे सके।

अदालत में सरकार की ओर से कहा गया कि एक सितंबर को भंवरी देवी ठेकेदार सोहनलाल के बुलाने पर उसके यहां गई थी। बाद में उसने शहाबुद्दीन को बिलाड़ा अस्पताल के पास बुलाया। उसके साथ स्कॉर्पियों गाड़ी में बैठ कर भंवरी चली गई। पुलिस ने सोहनलाल से पूछताछ की है। उसने कुछ लोगों के नाम बताए हैं, उनमें से कुछ फरार हैं। पुलिस ने अलग-अलग टीमें बनाई हैं व फरार आरोपियों के लिए अवार्ड भी घोषित किए हैं। इस पर अमरचंद के अधिवक्ता संदीप शाह ने कहा कि बंदी प्रत्यक्षीकरण याचिका पर नोटिस जाने के बाद पुलिस ने यह कार्रवाई की है।

केस डायरी में यह नाम किसका है, इससे अब तक पूछताछ क्यों नहीं की गई?

सुनवाई के दौरान खंडपीठ ने पूछा कि मामले में अब तक किस-किस के नाम सामने आए हैं? इस पर जांच अधिकारी ने बताया कि किसी भी वीआईपी का नाम रिकॉर्ड पर नहीं है। न्यायाधीश संगीत लोढ़ा ने केस डायरी में लिखी तीन लाइनें पढ़ने को कहा और वहां लिखे एक नाम के बारे में पूछा कि यह कौन है? जांच अधिकारी ने कहा कि यह नाम तो सोहनलाल ने बताया था। इस पर न्यायाधीश लोढ़ा ने उन्हें फटकारते हुए पूछा, ‘इससे अब तक पूछताछ क्यों नहीं की गई? क्या पुलिस अनुसंधान भी ‘पिक एंड चूज’ से करती है?’

संदिग्ध पुलिस अधिकारी को इनाम!

सुनवाई के दौरान अमरचंद के अधिवक्ता संदीप शाह ने कहा कि कॉल डिटेल में पुलिस एसआई लाखाराम का नाम सामने आया है, उसका क्या हुआ, उसे अब तक ‘प्राइज पोस्टिंग’ देकर जैसलमेर लगाया गया है। इस पर अनुसंधान अधिकारी ने कहा कि लाखाराम के बयान लिए गए हैं।

आरएसएस के संगठन की बैठक में महामंत्री की हत्या


राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ से जुड़े संगठन हिन्दू जागरण मंच की राष्ट्रीय बैठक में उत्तर प्रदेश के मिरजापुर जिले के महामंत्री की गोली मारकर हत्या कर दी गई। वारणासी के तुलसीपुर महमूरगंज स्थित निवेदिता शिक्षा सदन बालिका इंटर कालेज में हिन्दू जागरण मंच के देश भर मंत्रियों और प्रांत प्रमुखों की तीन दिवसिय बैठक चल रही है। इसी बैठक में गुरुवार शाम ६ बजे के करीब मिरजापुर के महामंत्री की गोली मारकर हत्या कर दी गई।

मारे गए महामंत्री की पहचान मीरजापुर के लालगंज थाना के मढ़वा नेवादा निवासी चंद्रेश के रूप में की गई है। चश्मदीदों के मुताबिक शाम ६ बजे के करीब कक्ष से गोली चलने की आवाज आई और गोपाल कृष्ण चौबे नामक युवक भागता दिखा। गोपाल हिन्दू जागरण मंच सोनभद्र का उपाध्यक्ष है।

हत्या की खबर से शहर में सनसनी फैल गई और भारी पुलिस बल मौके पर पहुंच गया। जिले के आलाअधिकारियों ने फोरेंसिक टीम के साथ घटनास्थल का दौरा किया और वारदात के साक्ष्य जुटाए।

एक घंटे से अधिक तक पुलिस को नहीं दी गई सूचना
हिन्दू जागरण मंच की बैठक के दौरान हुई महामंत्री की हत्या की सूचना पुलिस को वारदात के एक घंटे से अधिक बाद तक भी नहीं दी गई। जिले के पुलिस अधिकारियों के मुताबिक घटना की सूचना ७.३० बजे के बाद ही पुलिस को दी गई। घटना के एक घंटे बाद तक संगठन के पदाधिकारियों ने पुलिस के इसके बारे में कोई सूचना नहीं दी।

रंजिश की वारदात है हत्या
वाराणासी पुलिस हत्या की इस वारदात को आपसी रंजिश का नतीजा मान रही है। डीआईजी रामकुमार के मुताबिक हत्या आपसी रंजिश का नतीजा हो सकती है। जिस वक्त वारदात हुई उस वक्त कमरे में सिर्फ मृतक चंद्रेश और गोपाल ही थे। हालांकि अभी यह भी साफ नहीं हो सका है कि किस हथियार से गोली चलाई गई लेकिन पुलिस को पृथम दृष्ट्या यह मामला आपसी रंजिश का ही लग रहा है।

सबसे कम उम्र के क्रिकेट कप्‍तान नवाब पटौदी नहीं रह

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नई दिल्‍ली. मंसूर अली खान पटौदी नहीं रहे। वह कई दिनों से बीमार थे। दिल्‍ली के गंगाराम अस्‍पताल में उनका इलाज चल रहा था। उन्‍हें फेफड़ों की बीमारी थी। गुरुवार देर शाम उन्‍होंने आखिरी सांस ली।

सर गंगाराम अस्पताल के पल्मोनोल्जी (चेस्ट मेडीसिन) विभाग के अध्यक्ष और नीरज जैन ने उनके निधन से कुछ देर पहले बताया था, 'पटौदी की हालत में सुधार नहीं है। अधिकतम उपचार के बावजूद हम उनके शरीर में ऑक्सीजन के स्तर को नियत नहीं रख पा रहे हैं।'
70 वर्षीय पटौदी को फेफड़े में गंभीर संक्रमण के बाद अगस्त में अस्पताल में दाखिल कराया गया था। उनके दोनों फेफड़े ऑक्सीजन को साधारण अवस्था में गुजरने नहीं दे रहे हैं।
पटौदी का जन्‍म 1941 में भोपाल में हुआ था। उन्‍होंने देहरादून के वेल्हम बॉयज स्कूल में पढ़ाई की थी। एक हादसे में उनकी दाहिनी आंखी की रोशनी चली गई थी।
पटौदी 21 साल की उम्र में भारतीय क्रिकेट टीम के कप्‍तान बने थे। वह भारतीय क्रिकेट टीम के सबसे युवा कप्‍तान थे। उनके निधन के साथ ही क्रिकेट के एक युग का अंत हो गया है।

भारत के लिए 46 टेस्ट खेल चुके पटौदी सबसे सफल कप्तानों में से एक रहे। पटौदी ने 34.91 की औसत से 2793 रन बनाए। उनका सर्वाधिक स्‍कोर 203 रन (नाबाद) का था। उन्‍होंने 40 टेस्‍ट मैचों में भारतीय टीम की कप्‍तानी की थी। उन्‍हीं की कप्‍तानी में भारत ने टेस्‍ट मैच में विदेश में पहली सीरीज (न्‍यूजीलैंड के खिलाफ) जीती थी।

उनके परिवार में पत्‍नी शर्मिला टैगोर के अलावा सैफ अली खान और सोहा अली खान सहित तीन भाई-बहन हैं। शर्मिला, सैफ और सोहा बॉलीवुड की नामी हस्तियां हैं। उनके निधन पर क्रिकेट जगत के दिग्‍गजों के अलावा बॉलीवुड सहित कई क्षेत्रों की नामी-गिरामी हस्तियां शोक जता रही हैं।


2जी घोटाला: चिदंबरम के खिलाफ सीबीआई जांच को तैयार सरकार? गृह मंत्री के इस्‍तीफे की मांग

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नई दिल्ली. केंद्रीय गृह मंत्री पी. चिदंबरम इस्‍तीफा देंगे? 2जी घोटाले में उनका नाम आने के बाद यह सवाल जोर पकड़ रहा है। भाजपा ने तत्‍काल उनके इस्‍तीफे की मांग की है। एआईएडीएमके प्रमुख जे. जयललिता भी उनके साथ आ गई हैं। जया का कहना है कि जिस तरह सीबीआई ने अपनी ओर से पहल कर ए. राजा के खिलाफ कार्रवाई की, चिदंबरम के मामले में भी उसे वैसी ही सक्रियता दिखानी चाहिए। लेकिन सरकार ने दलील दी है कि 2जी घोटाले की जांच पर अब सुप्रीम कोर्ट को अपनी निगरानी बंद कर देनी चाहिए। हालांकि जनता पार्टी के अध्‍यक्ष सुब्रमण्‍यम स्‍वामी 2जी घोटाले में चिदंबरम की भूमिका को संदिग्‍ध बताते हुए इसकी सीबीआई से जांच कराने की मांग अदालत से कर चुके हैं। अदालत इस मामले में मंगलवार को अंतिम सुनवाई करेगी। संभव है, उसी दिन उनकी याचिका पर इसे लेकर कोई फैसला आ जाए।

गुरुवार को स्‍वामी की अर्जी पर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई हुई। स्‍वामी ने जहां सीबीआई जांच की इजाजत देने के पक्ष में दलील रखी, वहीं सरकार की ओर से पेश वरिष्‍ठ वकील पीपी राव ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट अब 2जी घोटाले की जांच की निगरानी बंद कर दे। उन्‍होंने तर्क दिया कि निचली अदालत में चार्जशीट दायर हो चुकी है। इसलिए अब जांच की निगरानी की जरूरत नहीं है। केंद्र सरकार की ओर से दलील दी गई कि चार्जशीट दायर होने के बाद जांच करना ठीक नहीं होगा, फिर भी अगर सुप्रीम कोर्ट कहे तो चिदंबरम के खिलाफ सीबीआई जांच कराई जा सकती है।

स्‍वामी ने चिदंबरम को भी सीबीआई जांच के दायरे में लाए जाने की मांग को लेकर याचिका दायर की है। स्वामी ने आरोप लगाया है कि चिदंबरम ने राजा के साथ मिलकर स्पेक्ट्रम की दरें तय की थीं। हालांकि सीबीआई ने टू जी स्पेक्ट्रम घोटाला मामले में पी. चिदम्बरम को सह-अभियुक्त बनाने की मांग का मंगलवार को सुप्रीम कोर्ट में विरोध किया था।


पौने दो लाख करोड़ रुपये के 2जी घोटाले में वित्त मंत्री प्रणब मुखर्जी की पीएमओ को लिखी चिट्ठी का ब्‍यौरा सार्वजनिक होने के बाद इस घोटाले से गृह मंत्री पी. चिदंबरम का नाम भी जुड़ गया है। चिट्ठी के मुताबिक चिदंबरम चाहते तो घोटाला रोका जा सकता थाइसके बाद कांग्रेस चिदंबरम के बचाव में खुलकर सामने आ गई है। कांग्रेस के प्रवक्ता डॉ. अभिषेक मनु सिंघवी ने कहा है कि उनकी पार्टी डॉ. सुब्रमण्यम स्वामी की तरफ से चिदंबरम के खिलाफ लगाए गए आरोपों को खारिज करती है। लेकिन भाजपा ने चिदंबरम के इस्‍तीफे की मांग की है। पार्टी के नेता मुरली मनोहर जोशी ने कहा कि इस मामले में चिदंबरम की भूमिका संदिग्‍ध लगती है। ऐसे में उन्‍हें तत्‍काल इस्‍तीफा देना चाहिए। अगर वह इस्‍तीफा नहीं देते हैं तो उन्‍हें बर्खास्‍त किया जाना चाहिए। लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष सुषमा स्‍वराज ने भी कहा कि 2जी घोटाले में चिदंबरम की भूमिका संदिग्‍ध है और सीबीआई की कार्यशैली भी संदेह के घेरे में आ गई है। वहीं, सीपीएम ने भी गृहमंत्री की भूमिका की सीबीआई द्वारा जांच किए जाने की मांग की है। पार्टी के महासचिव प्रकाश करात ने यह मांग की है।

दूसरी ओर, कांग्रेस प्रवक्‍ता सिंघवी ने गुरुवार को कहा, ‘कांग्रेस पार्टी को चिदंबरम की निष्ठा पर पूरा भरोसा है। शरारती तत्व कांग्रेस पार्टी में मतभेद की खबरें फैला रहे हैं। पार्टी इस बात की निंदा करती है। यह अत्यतं दुर्भाग्यपूर्ण है कि जो आरोप स्वामी ने सुप्रीम कोर्ट के सामने रखे हैं, उसी के आधार पर वह और मीडिया के कई लोग अपना फैसला सुना रहे हैं। विपक्ष इस मामले में मनगढ़ंत आरोप लगा रहा है।’ लेकिन मामले की गंभीरता को देखते हुए चिदंबरम ने प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह से करीब 20 मिनट तक फोन पर बात की। समझा जाता है कि प्रधानमंत्री ने उन पर अपना भरोसा जताया है, लेकिन कांग्रेस अध्‍यक्ष सोनिया गांधी इस मामले पर वित्‍त मंत्री प्रणब मुखर्जी से चर्चा करेंगी। प्रधानमंत्री और वित्‍त मंत्री अभी अमेरिका में हैं। मुखर्जी ने चिट्ठी के बारे में पत्रकारों के सवालों का कोई जवाब नहीं दिया। भारत और अमेरिका के कारोबारियों के सम्मेलन में हिस्सा लेते हुए प्रणब मुखर्जी ने बस इतना कहा, ‘2जी घोटाले से जुड़ी मेरी एक चिट्ठी को प्रधानमंत्री कार्यालय से सूचना के अधिकार के तहत हासिल किया गया है। यह मामला कोर्ट में विचाराधीन है।’ कांग्रेस के सूत्र बता रहे हैं कि सोनिया गांधी प्रधानमंत्री डॉ. मनमोहन सिंह और वित्त मंत्री प्रणब मुखर्जी के वापस लौटने के बाद दोनों से इस मुद्दे पर चर्चा करेंगी। प्रधानमंत्री और मुखर्जी ने चिदम्बरम से की फोन पर बात

2जी स्पेक्ट्रम घोटाले में पैदा हुए नए विवाद में केंद्रीय गृह मंत्री पी. चिदम्बरम का नाम आने पर प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह और केंद्रीय वित्त मंत्री प्रणब मुखर्जी ने फोन पर उनसे बात की है। चिदम्बरम ने प्रधानमंत्री और मुखर्जी को भरोसा दिया है कि उनके स्वदेश लौटने तक वह इस मामले में कोई प्रतिक्रिया नहीं देंगे।

ज्ञात हो कि प्रधानमंत्री और केंद्रीय वित्त मंत्री संयुक्त राष्ट्र महसभा के अधिवेशन में हिस्सा लेने के लिए न्यूयार्क गए हैं।

मनमोहन सिंह और मुखर्जी ने चिदम्बरम को बुधवार रात फोन किया। इस दौरान चिदम्बरम ने दोनों नेताओं को भरोसा दिया कि उनके भारत लौटने तक वह इस मामले में कुछ नहीं कहेंगे।

चिदम्बरम ने गुरुवार को एक बयान में कहा, "मीडिया के लोगों ने मुझसे पूछा है कि मैं चुप क्यों हूं। प्रधानमंत्री ने पिछली रात मुझे फ्रेंकफर्ट से फोन किया और मुझसे बात की और केंद्रीय वित्त मंत्री ने मुझसे वाशिंगटन से फोन पर चर्चा की।

उन्होंने कहा, "मैंने प्रधानमंत्री को भरोसा दिया है कि जबतक वह भारत लौट नहीं आते तबतक मैं इस मसले पर कोई सार्वजनिक बयान नहीं दूंगा।"

इस बीच, सरकार के सूत्रों ने बताया कि फोन पर बातचीत के दौरान प्रधानमंत्री ने चिदम्बरम से कहा कि 2जी स्पेक्ट्रम आवंटन में उनकी भूमिका का उल्लेख करने वाली केंद्रीय वित्त मंत्रालय की टिप्पणी को उन्होंने देखा नहीं है।

सूत्रों ने बताया कि दोनों नेताओं के बीच फोन पर बातचीत करीब 20 मिनट तक चली। इस दौरान प्रधानमंत्री ने चिदम्बरम की निष्ठा में पूरा विश्वास जताया और अपनी स्वदेश वापसी तक उनसे इस मामले में धैर्य रखने के लिए कहा।

उल्लेखनीय है कि 2जी स्पेक्ट्रम का आवंटन जिस समय किया गया उस समय चिदम्बरम संयुक्त प्रगतिशील गठबंधन (संप्रग) सरकार के पहले कार्यकाल के दौरान केंद्रीय वित्त मंत्री थे और अब केंद्रीय वित्त मंत्रालय ने प्रधानमंत्री कार्यालय को जो टिप्पणी भेजी है उसमें कहा गया है कि यदि चिदम्बरम चाहते तो स्पेक्ट्रम की नीलामी हो सकती थी।

कोन कहता है हमारे देश में ३२ रूपये में दो वक्त पेट भर कहा नहीं सकते अरे इन गरीबों को संसद में तो जाकर देखो

कितनी अजीब बात है ..केसे हमारे देश के लोग हैं .बेचारी हमारी सरकार इतनी महनत और लगन के बाद सरकारी आंकड़े तय्यार करती है गरीबी का आंकलन करती है और हम .हमारा मिडिया सरकारी महनत का मजाक उढ़ाते हैं अभी हाल ही में देश की सर्वोच्च अदालत में सरकार ने गरीबी को परिभाषित करते हुए एक शपथ पत्र दिया जिसमे शहर में ३२ रूपये और गाँव में २८ रूपये में पेट भरनेवाली बात कही और इससे कम आमदनी वालेको गरीब माना गया है हमारे देश में ४५ करोड़ लोगों की यह संख्या बताई गयी है सवा सो करोड़ में से ४५ करोड़ आज भी देश में बदतर हालात में है यह तो सरकार ने स्वीकार कर लिया है दोस्तों ..आओ सोचते हैं सरकार ने यह आंकड़े कहां से प्राप्त किये ...................भाई सरकार का कोई भी कारिन्दा जो एयर कंडीशन से कम बात नहीं करता है वोह किसी गाँव या कच्ची बस्ती गरीबों की बस्ती में तो नहीं गया ...लेकिन हाँ संसद की केन्टीन से यह आंकड़े उन्होंने प्राप्त किये हैं जहां एक सांसद इस गरीबी की परिभाषा में आता है दोस्तों आप जानते हैं संसद की केन्टीन में एक रूपये की चाय दो रूपये का दूध ..डेढ़ रूपये की दाल ..दो रूपये के चांवल ..एक रूपये की चपाती चार iरूपये का डोसा ..आठ रूपये की बिरयानी ...तेरह रूपये की मछली और २४ रूपये का मुर्गा मिलता है और यह बेचारे इतने गरीब है के इतना महंगा सामान खरीद कर खाने के इन्हें कम रूपये मिलते इन्हें केवल अस्सी हजार रूपये प्रति माह का वेतन मिलता है और करीब एक लाख रूपये के दुसरे भत्ते मिलते हैं ..अब देश के इन गरीबों का बेचारों का क्या करें बेचारे संसद में जाकर सोते हैं संसद में जाकर लड़ते हैं जब कानून बनाने या विधेयक पारित करने की बात होती है तो वाक् आउट कर कानून पारित करवा देते हैं जब विश्वास मत की बात आती है तो बेचारे रिश्वत लेकर वोट डाल देते हैं ..लोकसभा में सवाल पूंछना हो तो इसके भी रूपये ले लेते हैं और संसद के बाहर कोई अगर इस सच को उजागर करे तो उन्हें विशेषाधिकार का नोटिस देकर डरा देते हैं .हैं ना हमारा देश गरीब और हमारे देश की गरीबी के आंकड़े बिलकुल सही और ठीक हैं .............अख्तर खान अकेला कोटा राजस्थान

अन्‍ना ने दिया अल्‍टीमेटम, लोकायुक्‍त बिल पारित नहीं हुआ तो करेंगे अनशन


मुंबई. अन्‍ना हजारे ने महाराष्‍ट्र के मुख्‍यमंत्री पृथ्‍वीराज चव्‍हाण को चिट्ठी लिख कर कहा है कि अगर अगले विधानसभा सत्र में राज्‍य में लोकायुक्‍त नियुक्‍त करने का कानून पास नहीं कराया गया तो वह अनशन करेंगे। अन्‍ना ने चिट्ठी में चेतावनी दी है कि वह विधानसभा सत्र के अगले सत्र के आखिरी दिन तक इंतजार करेंगे।

सरकार राज्य के लोकायुक्त को अधिक सक्षम बनाने के लिए राजी हो गई है। सरकार ने लोकायुक्त और उप लोकायुक्त को ज्यादा अधिकार देने का मन बनाया है। वह मुख्यमंत्री और विधायकों को भी लोकायुक्त के दायरे में लाने के लिए तैयार है। लेकिन सरकार अभी यह सब सैद्धांतिक रूप से कह रही है। इस पर अमल की दिशा में अभी तक कोई ठोस कार्रवाई नहीं हुई है। इसे देखते हुए ही अन्‍ना हजारे ने अल्‍टीमेटम दिया है। वह भ्रष्टाचार संबंधी मामलों में कार्रवाई करने के लिए राज्य सतर्कता आयोग बनाने की मांग भी कर रहे हैं। साथ ही, वह मुख्‍यमंत्री को भी लोकायुक्‍त के दायरे में लाने की मांग कर रहे हैं

मुख्यमंत्री चव्हाण ने लोकायुक्त के अधिकार बढ़ाने के संकेत तो दिए हैं। पर सतर्कता आयोग बनाने की अन्‍ना की मांग पूरी नहीं हो सकेगी। सरकार का मानना है कि भ्रष्टाचार विरोधी ब्यूरो होते हुए राज्य में सतर्कता आयोग के नाम से सामानंतर विभाग बनाने की आवश्यकता नहीं है।

सरकार की तरफ से राज्य में लोकायुक्त व उप-लोकायुक्त की नियुक्ति की जाती है। पर उनके पास फैसले लेने के अधिकार नहीं हैं। लोकायुक्त और उप-लोकायुक्त के दायरे में मंत्रियों का समावेश है, मगर मुख्यमंत्री और विधायक उससे बाहर हैं।

इस कार में एक बार पेट्रोल भरवाओं और भूल जाओ




अविश्वनीय किंतु सच। अमेरिकी की एक कंपनी ने एक ऐसी कार की घोषणा की है जिसमें एक बार पेट्रोल भरवाने के बाद वर्षों तक इसकी जरुरत नहीं पड़ेगी।

फॉक्स न्यूज के मुताबिक अमेरिकी में कनेक्टिक स्थित लेजर पावर सिस्टम नाम की छोटी सी कंपनी के सीईओ चार्ल्स स्टीवंस ने यह घोषणा की है उनके मुताबिक इस इंजिन को थोरियम इंजिन कहा जाता है और सिर्फ 8 ग्राम थोरियम इसे वर्षों तक चलाए रखने के लिए पर्याप्त है। इंजिन में एक लेजर होता है जो उससे वाष्प बनाता है यह वाष्प पावर इलेक्ट्रिक मोटर को चलाने वाले जेनेरेटर में ले जाता है। थोरियम लेजर परंपरागत लेजर की तरह रोशनी नहीं पैदा करता है बल्कि उष्मा पैदा करता है जिससे उर्जा मिलती है।

थोरियम प्लूटोनियम की तरह ही रेडियो ऐक्टिव तत्तव है जो दुनिया भर में मिलता है लेकिन भारत में इसकी बहुलता है। एक ग्राम थोरियम से यह कार 24,800 लीटर पेट्रोल के बराबर उर्जा देगी जिससे लगभग 5 लाख किलोमीटर तक कार चलाई जा सकेगी।

तख्‍तापलट की तैयारी? अमेरिकी ठिकानों पर पाक ने करवाए हमले, बदला लेगा अमेरिका!


वॉशिंगटन. पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी आईएसआई का असली चेहरा अब अमेरिका के सामने भी आ गया है। अमेरिकी अधिकारियों के मुताबिक अमेरिका के हाथ ऐसे सुबूत लगे हैं, जिनसे यह साफ हो गया है कि खुफिया एजेंसी पाकिस्तान के आतंकवादी संगठन को अमेरिकी ठिकानों पर हमले के लिए प्रोत्साहित करता रहा है। अमेरिका को खुफिया जानकारी मिली है कि काबुल में पिछले हफ्ते अमेरिकी दूतावास पर हुए हमले को हक्कानी नेटवर्क ने आईएसआई के निर्देश पर अंजाम दिया था। अमेरिकी ठिकानों पर कई खतरनाक हमलों के बाद अमेरिका पर हक्कानी नेटवर्क के खिलाफ कार्रवाई करने का दबाव बढ़ता जा रहा है। अमेरिकी अधिकारियों के मुताबिक पाकिस्तान को संकेत दे दिया गया है कि हक्कानी नेटवर्क के खिलाफ कार्रवाई नहीं हुई तो वह खुद पाकिस्तान में घुसकर नेटवर्क को निशाना बनाएगा।

कुछ अमेरिकी अधिकारी यह मानते हैं कि अमेरिका को ऐबटाबाद जैसा ही एक और ऑपरेशन करके हक्कानी नेटवर्क को ध्वस्त कर देना चाहिए। लेकिन ऐसी कार्रवाई के साथ जुड़ा जोखिम और पाकिस्तान की तरफ से होने वाले संभावित विरोध के चलते अमेरिकी प्रशासन अभी इस पर विचार नहीं कर रहा है।
इस बीच, अपने ठिकानों पर हमले से बौखलाए अमेरिका की सीनेट की एक समिति ने पाकिस्‍तान को दी जाने वाली आर्थिक व सामरिक मदद के लिए शर्त लगाए जाने का प्रस्‍ताव पास कर दिया है। प्रस्‍ताव के मुताबिक अगर अमेरिका को हक्‍कानी नेटवर्क जैसे आतंकी समूहों से लड़ने में पाकिस्‍तान मदद करता है, तभी उसे सहायता मिलेगी।
पाकिस्तान के लिए यह मुश्किल ऐसे समय आई है जब वहां सेना के कुछ कमांडर सैन्य तख्तापलट की तैयारी में हैं। उनका मानना है कि राजनीतिक नेतृत्व की विफलता के कारण देश में अराजकता की स्थिति पैदा हो गई है। इन कमांडरों ने अपना मत एक बैठक के दौरान व्यक्त किया, जिसे सेनाध्यक्ष अशफाक परवेज कियानी ने खारिज कर दिया।
लेकिन दूसरी तरफ, पाकिस्तान ने हक्कानी नेटवर्क के पाकिस्तान में मौजूद होने से साफ इनकार कर दिया है। पाकिस्तान के गृहमंत्री रहमान मलिक ने कहा है कि उनके देश में हक्कानी नेटवर्क नहीं है और अगर उन्हें ऐसी पुख्ता जानकारी मिली कि हक्कानी नेटवर्क उनकी ज़मीन से काम कर रहे हैं, तो उनकी सरकार सख्त कार्रवाई करेगी।

अजब-गजब : यहां दादा के शुक्राणुओं से होगा पोते का जन्म...!

अहमदाबाद। संबंधों की विचित्रता उत्पन्न करने वाला यह किस्सा अहमदाबाद का है। यहां डॉ. शैलेष पटेल नामक गायनेकोलॉजिस्ट अपने पोते के बायोलॉजिकल पिता बनने जा रहे हैं। दरअसल अमेरिका में रहने वाले उनकाबेटा 'अजूस्पर्मिया' (वीर्य से संबंधित समस्या) से पीडि़त है। इसलिए उसके शुक्राणु बच्चे को जन्म देने में असमर्थ हैं।


डॉक्टरों के अनुसार... इस प्रक्रिया को वैसे गलत नहीं कहा जा सकता। क्योंकि वीर्य अगर खानदान के ही किसी पुरुष का (मसलन भाई या पिता) इस्तेमाल किया जाए तो पैदा होने वाले बच्चे में पारिवारिक लक्षण भी दिखाई देते हैं। कई बार इस तरह के बच्चे में आंखें, स्वभाव और दिमाग के मामले में भी वंश के गुण शामिल रहते हैं।

चिकित्सकों के अनुसार भारत में इस मामले को भले ही अच्छी नजरों से नहीं देखा जाता लेकिन विश्व भर की बात की जाए तो अधिकतर मामलों में बेटे ने पिता के वीर्य के उपयोग की ही बात पर जोर दिया है, ताकि बच्चे में वंश के लक्षण रहें।

हालांकि बच्चे पैदा करने के लिए परिवार के व्यक्ति के शुक्राणुओं का उपयोग का मामला अब विवादास्पद भी होता जा रहा है। इसे लेकर यह भी खबर है कि जल्द ही संसद में एक 'असिस्टेड रिप्रोडक्टिव बिलÓ पेश होने वाला है। इस बिल के अनुसार शुक्राणुओं का आदान-प्रदान अब परिवार के बीच नहीं हो सकेगा। परिवार का व्यक्ति परिवार में ही शुक्राणु प्रदान नहीं कर सकेगा और चोरी-छिपे ऐसा किया भी जाता है तो पकड़े जाने पर दोनों पक्षों को तीन साल की सजा का प्रावधान भी होगा।
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