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25 अक्तूबर 2012

महात्मा गांधी को नहीं दी जा सकती 'राष्ट्रपिता' की उपाधि : गृह मंत्रालय

 

महात्मा गांधी को नहीं दी जा सकती 'राष्ट्रपिता' की उपाधि : गृह मंत्रालय
नई दिल्ली त्न महात्मा गांधी को सरकार की ओर से 'राष्ट्रपिता' की उपाधि नहीं दी जा सकती। इसलिए क्योंकि संविधान में सेना और शिक्षा से जुड़ी उपाधि के अलावा कोई अन्य उपाधि देने का प्रावधान नहीं है। यह जानकारी गुरुवार को एक आरटीआई के जवाब में केंद्रीय गृह मंत्रालय ने दी है। एप्लीकेशन लखनऊ की छठवीं कक्षा की छात्रा ऐश्वर्या पराशर ने लगाई थी।

मंत्रालय ने कहा कि महात्मा गांधी को 'राष्ट्रपिता' घोषित करने की उसकी याचिका पर कोई कार्रवाई नहीं की गई है। संविधान के अनुच्छेद 18 (1) के तहत ऐसा नहीं किया जा सकता। इस अनुच्छेद के तहत सिर्फ सैन्य और शैक्षणिक उपाधियां देने की ही इजाजत है। ऐश्वर्या ने महात्मा गांधी को राष्ट्रपिता का दर्जा दिए जाने का कारण जानने के लिए भी आरटीआई दायर की थीं। इसके जवाब में बताया गया कि ऐसा कोई दर्जा उन्हें नहीं दिया गया है। इसके बाद उसने तत्कालीन राष्ट्रपति प्रतिभा देवी और प्रधानमंत्री को पत्र लिखा था।

जी न्यूज ने खबर नहीं दिखाने के मांगे १०० करोड़ : जिंदल


 

सांसद ने स्टिंग ऑपरेशन का खुलासा किया, जी न्यूज ने कहा- खबर रुकवाने का है हथकंडा

कांग्रेस सांसद और उद्योगपति नवीन जिंदल ने समाचार चैनल जी न्यूज पर ब्लैक मेल करने का आरोप लगाया है। कंपनी द्वारा कराए स्टिंग ऑपरेशन का खुलासा करते हुए जिंदल ने कहा कि कोल ब्लॉक आवंटन से जुड़ी खबर नहीं दिखाने के एवज में चैनल ने 100 करोड़ रुपए मांगे थे। जवाब में जी न्यूज ने कहा कि कोयला घोटाले की खबर रुकवाने के लिए नवीन जिंदल इस तरह के हथकंडे अपना रहे हैं। कैग की रिपोर्ट में 1.86 लाख करोड़ के कोल ब्लॉक आवंटन घोटाले में जिंदल स्टील एंड पावर लि. (जेएसपीएल) का भी नाम है। नवीन जिंदल ने गुरुवार को प्रेस कांफ्रेंस में जी न्यूज के संपादकों से हुई बातचीत के टेप भी जारी किए। इसमें चैनल के मैनेजिंग एडिटर सुधीर चौधरी और जी बिजनेस के संपादक समीर अहलूवालिया को जिंदल के अधिकारियों से बातचीत करते हुए दिखाया गया है।

पैसे के भरोसे में नहीं दिखाई खबर : जिंदल ने बताया कि चैनल को भरोसा हो गया था कि हम पैसा दे देंगे इसलिए 13 सितंबर को खबरें दिखानी बंद कर दी गईं। शेष त्न पेज १२



लेकिन 19 सितंबर को जब हमने पैसा नहीं देने की बात साफ कर दी कंपनी के खिलाफ फिर से खबरें चलाई जाने लगी। कंपनी ने स्टिंग ऑपरेशन का फुटेज न्यूज चैनलों के संपादकों की संस्था बीईए को भी भेजा गया है। इसके बाद इसे दिल्ली पुलिस को सौंप दिया गया है। पुलिस प्रवक्ता राजन भगत ने बताया कि मामले की जांच जारी है।

नवीन हमसे कांट्रैक्ट करना चाहते थे : जी न्यूज

जिंदल के बयान जारी करने के फौरन बाद सुधीर चौधरी और समीर आहलूवालिया ने सफाई दी। उन्होंने कहा कि वे जेएसपीएल की नीयत का खुलासा करना चाहते थे। कंपनी से डमी कांट्रैक्ट करने की कोशिश हो रही थी। सबूत के तौर पर उन्होंने एक कागजात भी दिखाया और कहा कि नवीन जिंदल खबर रुकवाने के लिए 100 करोड़ रुपए के करार पर साइन करने को तैयार थे। ये पैसे विज्ञापन के मद में दिए जाने थे। अब वे तस्वीर का रुख बदलने की कोशिश कर रहे हैं। इससे पहले कंपनी के कॉर्पोरेट कम्यूनिकेशन टीम ने खबर रुकवाने के लिए 25 करोड़ रुपए की रिश्वत देने की भी कोशिश की

राजस्थान में बढ़ेगी भाजपा-कांग्रेस की मुश्किल, ये राम और हनुमान बनाएगें नई पार्टी



जयपुर/ जोधपुर. सांसद डॉ. किरोड़ी लाल मीणा और विधायक हनुमान बेनीवाल मिलकर नई पार्टी बनाएंगे। प्रदेश में तीसरे विकल्प के रूप में स्थापित करने के लिए बनाई जाने वाली नई पार्टी की घोषणा जनवरी, 2013 में की जाएगी। पार्टी के लिए अभी नाम तय नहीं है, लेकिन इसके रजिस्ट्रेशन की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है।

सांसद डॉ. मीणा ने जयपुर में और विधायक हनुमान बेनीवाल ने जोधपुर में बताया कि इसके लिए तैयारियां तेज कर दी गई हैं। मीणा ने कहा कि कांग्रेस और भाजपा से लोग त्रस्त हो चुके हैं और इन दोनों के भ्रष्टाचार के मामलों को लेकर परेशान हैं। भाजपा और कांग्रेस की अंतर्कलह ने भी लोगों के विचलित कर दिया है। ऐसे में तीसरे विकल्प की जरूरत महसूस की जा रही है। उन्होंने कहा कि नई पार्टी बनाने में विधायक बेनीवाल उनके साथ हैं।

किरोड़ीलाल मीणा ने कहा कि राम और हनुमान साथ होंगे तो लंका जीत ही लेंगे। जब उनसे पूछा गया कि लंका कौन है तो उन्होंने कहा कि उनका मकसद भ्रष्टाचार की लंका का सर्वनाश है। नई पार्टी बनाने के लिए कई विधायक और अच्छी पैठ वाले जनप्रतिनिधि भी संपर्क में हंैं। उधर, हनुमान बेनीवाल ने 40 विधायकों के संपर्क में होने का दावा किया है।

विधायक हनुमान बेनीवाल ने कहा कि आज का युवा भ्रष्ट नेताओं को पसंद नहीं करता, इसलिए चुनाव में तीसरे मोर्चे का विकल्प होना जरूरी है। इसके लिए वे और किरोड़ी लाल मीणा मिलकर इसकी तैयारियों में जुटे हैं। जोधपुर प्रवास में बेनीवाल ने मीडिया से बातचीत में कहा कि देश के 17 राज्यों में क्षेत्रीय पार्टियां राज कर सकती हैं तो राजस्थान में भी यह संभव हो सकता है। नई पार्टी बनाकर किसान को मुख्यमंत्री बनाएंगे। उन्होंने आरोप लगाया कि प्रतिपक्ष की नेता वसुंधरा राजे को भ्रष्टाचारी नेताओं का 'कॉकस' घेरे बैठा है। वे ही अपनी नेता बताकर चुनाव लडऩे की बात कर रहे हैं, जबकि पार्टी में एक राय नहीं है।

पांच दिन का अल्टीमेटम

जोधपुर जिले की जेठनिया प्रकरण को लेकर बेनीवाल ने कहा कि बाबूराम के शव की गांव में अंत्येष्टि करने से रोकने वाली खाप पंचायत के पंचों के खिलाफ अभी तक पुलिस ने कोई कार्रवाई नहीं की है। मुख्यमंत्री अशोक गहलोत का गृह जिला होते हुए भी पुलिस कार्रवाई नहीं होना दुर्भाग्यपूर्ण है। उन्होंने कहा कि अब अगर पांच दिन में कोई कार्रवाई नहीं हुई तो आंदोलन किया जाएगा। उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि लोहावट विधायक गजेंद्र सिंह खींवसर के दबाव के चलते बाबूराम के भाई के खिलाफ दर्ज सड़क दुर्घटना के मामले को गैर इरादतन हत्या में दर्ज कर लिया गया।

मुझे निष्कासित क्यों नहीं करती पार्टी

बेनीवाल ने कहा कि भाजपा उन्हें पार्टी से निष्कासित क्यों नहीं करती। अभी तक उन्हें पार्टी में क्यों बना रखा है?

प्यार करने वालों का 'मक्का', शादी-शुदा लोगों का भी यहां जाना है ज़रूरी!



प्यार करने वालों का \'मक्का\', शादी-शुदा लोगों का भी यहां जाना है ज़रूरी!
राजस्थान के श्रीगंगानगर जिले में पाकिस्तान की सीमा से महज दो किमी दूर एक छोटा सा गांव है बिन्जौर(अनूपगढ़ के पास),जहां बनी हुई है प्यार के देवता लैला-मजनूं की मजार। इस मजार पर आज भी लोगों का जमावड़ा लगा रहता है।

रीढ़ की हड्डी से जुड़ी कोई भी प्रॉब्लम हो तो ये उपाय रामबाण है...



किसी व्यक्ति को गठिया, साइटिका या रीढ़ की हड्डी या अन्य हड्डी से जुड़ी कोई परेशानी है तो उसके लिए गृद्धासन काफी कारगर उपाय हैं। इसके नियमित अभ्यास से काफी फायदा होता है।

गृद्धासन की विधि

- समतल स्थान पर कंबल आदि बिछाकर जमीन पर सीधा खड़े हो जाएं।

- फिर दाएं पैर को घुटनें से मोड़कर बाएं पैर में रस्सी की तरह लपेटकर खड़े हो जाएं तथा पूरे शरीर का भार एक पैर पर डालें।

- इस तरह दोनों हाथों को भी आपस में इस तरह से लपेटे की अंगूलियां गिद्ध की चोंच की तरह बन जाएं।

- हाथों को मुंह के सामने रखें।

- आसन की इस स्थिति में कुछ देर तक रहें और सामान्य स्थिति में आकर इस क्रिया को दूसरे पैरों से भी करें।

- इसमें घुटनों को हमेशा मुड़े हुए रखें। इस आसन का अभ्यास शुरु में कठिन होता है।

- इस आसन को शुरु में करते समय किसी दूसरे की सहायता ले सकते हैं। बाद में बिना किसी की सहायता से ही करें। इस आसन में शरीर का पूर्ण भार एक पैर पर ही टिका होता है। इसमें शरीर का संतुलन बनाना आवश्यक है।

आसन से रोगों में लाभ

इससे पिण्डलियों की मांसपेशियां विकसित व सक्त बनती है। इस से पैरों व हाथों की हड्डियां मजबूत होती है तथा रीढ़ की हड्डी भी मजबूत होती है। यह हाथ-पैरों को विकसित एवं पुष्ट करता है। यह गठिया तथा पुरानी गृधसी (वातरोग, साइटिका पेन) को ठीक करता हैं।

सावधानी

यदि आपको किसी तरह की बीमारी है तो किसी योग प्रशिक्षक से परामर्श अवश्य करें।

यहां बनते हैं स्पेशल चांदी के सिक्के, धनतेरस पर पूरे देश में होती है डिमांड!



जोधपुर.दीपावली पर लक्ष्मी पूजन के लिए सूर्यनगरी के बाजार में 16 क्विंटल चांदी के सिक्के बाजार में बिक्री के लिए उतारे जाएंगे। शहर की देसी टकसाल में चांदी के सिक्कों की ढलाई का काम शुरू हो गया है। चांदी के सिक्कों की सर्वाधिक खरीद दीपावली से दो दिन पहले धनतेरस को होती है।
 
परकोटे के भीतर देसी टकसाल में ढलने वाले चांदी के सिक्कों की जोधपुर ही नहीं पूरे पश्चिमी राजस्थान एवं पुणे और कोलकाता में बसे मारवाड़ी समाज में साख है। वहां बसे मारवाड़ी लोग लक्ष्मी पूजन में देसी टकसाल में बने चांदी के सिक्के का ही उपयोग करते हैं।
 
देसी टकसाल में  नवरात्रा घट स्थापना के साथ ही चांदी के सिक्के बनाने का काम शुरू हो जाता है। सर्राफा बाजार के जानकारों के अनुसार इस बार जमाना अच्छा होने से समृद्धि के प्रतीक चांदी के सिक्के इस बार काफी तादाद में बिकने की संभावना है।
 
एक से सौ ग्राम तक वजन
 
देसी टकसाल में 1, 2, 3, 4, 5, 8, 10, 20, 50 व100 ग्राम वजन के सिक्के ढालने का काम शुरू हो गया है। इन सिक्कों में देवी लक्ष्मी  सहित विभिन्न देवी देवताओं के सिक्के  प्रमुख हैं।
 
ऐसे हैं चांदी के सिक्के 
 
लक्ष्मी पूजन के लिए ओम, ओम श्री, लक्ष्मी-गणेशगणोश-लक्ष्मी-सरस्वती त्रिमूर्ति, श्रीयंत्र, विष्णु-लक्ष्मी, श्री लक्ष्मी के सिक्के की धनतेरस को खरीद  एवं दीपावली को लक्ष्मी पूजन किया जाता है। जैन समाज में स्वास्तिक चिह्न् वाले सिक्कों की खरीद एवं पूजन करने की भी परंपरा है।
 
यहां है देसी सिक्कों की मांग
 
जोधपुर की देसी टकसाल में ढले सिक्कों की मांग जोधपुर शहर सहित बाड़मेर, बालोतरा, सिवाणा,मोकलसर,रानी, जैसलमेर, फलौदी, पोकरण, नागौर, अजमेर,पुणे व कोलकाता इत्यादि कई शहरों में है। देश के किसी भी शहर में जहां मारवाड़ के लोग रहते हैं, वहां ये सिक्के भेजे जाते हैं।
 
जोधपुर के सिक्कों की पूरे देश में साख 
 
'जोधपुर की देसी टकसाल में इस बार धनतेरस एवं दीपावली के लिए 1500 से 1600 किलो चांदी के सिक्के ढलने की उम्मीद है। देसी टकसाल में बनने वाले सिक्कों की पूरे देश में आजादी से पहले से आज तक अपनी विशेष पहचान व साख है।'
 
कमल सोनी, सिक्के वाला
 
परख कर खरीदें, नहीं तो ठगे जाओगे
 
'पिछले कुछ सालों से बाजार में चांदी के असली सिक्कों के साथ ही सफेद मेटल से बने सिक्के भी आ रहे हैं, जो देखने में हूबहू चांदी जैसे होते हैं। आम आदमी सस्ते के चक्कर में नकली सिक्के  खरीद लेता है। इसी तरह से कम वजन के सिक्के भी प्रचलन में रहते हैं। उदाहरण के तौर पर 5 ग्राम के स्थान पर चार ग्राम और दस ग्राम के स्थान पर आठ ग्राम के सिक्के थमा दिए जाते हैं। ऐसे में आम आदमी को सस्ते के चक्कर में पड़ने के स्थान पर ठोक बजा कर खरीदना चाहिए।'
 
नवीन सोनी, सोने चांदी के ज्वैलर्स

कुरान का संदेश

इस आसान विधि से आज करें पापांकुशा एकादशी का व्रत



 

आज 25 अक्टूबर, गुरुवार को पापांकुशा एकादशी का व्रत है। धर्म ग्रंथों के अनुसार इस व्रत को करने से सभी पापों से मुक्ति मिल जाती है। इस व्रत की विधि इस प्रकार है-

इस व्रत का पालन दशमी तिथि के दिन से ही करना चाहिए। दशमी तिथि के दिन सात धान्य अर्थात गेहूं, उड़द, मूंग, चना, जौ, चावल और मसूर की दाल का सेवन नहीं करना चाहिए क्योंकि इन सातों धान्यों की पूजा एकादशी के दिन की जाती है। जहां तक संभव हो दशमी तिथि और एकादशी तिथि दोनों ही दिनों में कम से कम बोलना चाहिए। दशमी तिथि को भोजन में तामसिक वस्तुओं का सेवन नहीं करना चाहिए और पूर्ण ब्रह्राचर्य का पालन करना चाहिए।

एकादशी तिथि के दिन सुबह उठकर स्नान आदि करने के बाद व्रत का संकल्प लेना चाहिए। संकल्प अपनी शक्ति के अनुसार ही लेना चाहिए यानी एक समय फलाहार का या फिर बिना भोजन का। संकल्प लेने के बाद घट स्थापना की जाती है और उसके ऊपर श्री विष्णुजी की मूर्ति रखी जाती है। इस व्रत को करने वाले व्यक्ति को रात्रि में विष्णु के सहस्त्रनाम का पाठ करना चाहिए। इस व्रत का समापन एकादशी तिथि में नहीं होता है बल्कि द्वादशी तिथि की सुबह ब्राह्माणों को अन्न का दान और दक्षिणा देने के बाद ही यह व्रत समाप्त होता है।

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