आपका-अख्तर खान

हमें चाहने वाले मित्र

05 जनवरी 2014

वैज्ञानिक तौर पर बने इस गांव से एक रात में गायब हो गए हजारों परिवार



उदयपुर. राजपूताना के लिए मशहूर भारत का यह राज्य राजस्थान वास्तव में बहुत सी आश्चर्य जनक और ऐतिहासिक घटनाओं का धनी है, एक ओर अजमेर में जहां विश्व प्रसिद्द ख्वाजा साहब की दरगाह है तो वहीं जयपुर का जंतर मंतर जैसी वेधशाला है। ऐसा लगता है जैसे यहां का हर शहर अपने आप में कई रहस्यमयी घटनाओं को अपने दामन में समेटे हुए है। इन्हीं घटनाओं में से एक है राजस्थान के कुलधरा गांव की रहस्यमयी घटना।
 
दरअसल हम बात कर रहे हैं जैसलमेर के कुलधरा गांव की। 170 साल पहले इस गांव के लोगों ने अपनी बेटी की इज्जत बचाने के लिए रातोंरात गायब हो गए थे। आज भी रहस्य है कि ऐसा क्या हुआ कि वैज्ञानिक तौर पर बने यहां के 84 गांव के लोगों को एक साथ छोड़कर जाना पड़ा। 
 
दरअसल, ईट पत्थर से बने इस गांव की बनावट ऐसी थी कि यहां कभी गर्मी का अहसास नहीं होता था। यह पूर्ण रूप से वैज्ञानिक तौर पर बना था।
 
ऐसा माना जाता है कि इस गांव को दीवान को एक लड़की से हुए प्रेम के कारण हुआ। इसी प्रेम के कारण इस गांव को श्राप मिला कि यह रातोंरात उजड़ गया और आज भी यहां कोई नहीं रहता। यहां का नजारा आज भी वैसा ही है जैसा उस रात था जब लोग यहां से गायब हुआ थे।रातोंरात क्यों खाली हुए 84 गांव: एक रात में इस गांव में वीरानी क्यों छा गई। इस बारे में कई प्रचलित मान्यताएं हैं। एक मान्यता के अनुसार कुलधरा गांव में पालीवाल ब्राह्मण रहा करते थे। ऐसा कहा जाता है कि गांव को यहां के अय्याश दीवान सालम सिंह की नजर लग गई थी। उसकी बुरी नजर गांव के ही एक ब्राह्मण की लड़की पर पड़ी। दीवान उस लड़की के पीछे इस कदर पागल था कि बस किसी तरह से उसे पा लेना चाहता था। उसने इसके लिए ब्राह्मणों पर दबाव बनाना शुरू कर दिया। हद तो तब हो गई कि जब सत्ता के मद में चूर उस दीवान ने लड़की के घर संदेश भिजवाया कि यदि अगले पूर्णमासी तक उसे लड़की नहीं मिली तो वह गांव पर हमला करके लड़की को उठा ले जाएगा। गांववालों के लिए यह मुश्किल की घड़ी थी। उन्हें या तो गांव बचाना था या फिर अपनी बेटी। इस विषय पर निर्णय लेने के लिए सभी 84 गांव वाले एक मंदिर पर इकट्ठा हो गए और पंचायतों ने फैसला किया कि कुछ भी हो जाए अपनी लड़की उस दीवान को नहीं देंगे।
फिर क्या था, गांव वालों ने गांव खाली करने का निर्णय कर लिया और रातोंरात सभी 84 गांव आंखों से ओझल हो गए। जाते-जाते उन्होंने श्राप दिया कि आज के बाद इन घरों में कोई नहीं बस पाएगा। आज भी वहां की हालत वैसी ही है जैसी उस रात थी जब लोग इसे छोड़ कर गए थे। एक अन्य कहानी के मुताबिक यहां पर शासन करने वाले राजा गांव के पालीवालों को खत्म कर देना चाहते थे। वे आए दिन ग्रामीणों पर अत्याचार और क्रूर व्यवहार किया करते थे। उन्हें गुलाम बनाकर रखना चाहते थे। इसी वजह से गांव के लोगों ने यह निर्णय लिया कि वे इस जगह को छोड़ देंगे और जाते समय उन्होंने उस स्थान को शापित कर दिया कि उनके बाद यहां पर कोई बस नहीं सकेगा।

जयराम रमेश बोले- AAP के खतरे को नहीं समझा तो इतिहास बन जाएंगे राजनीतिक दल



नई दिल्ली। आम आदमी पार्टी की राष्ट्रीय कार्यकारिणी बैठक में लोकसभा चुनावों को लेकर पार्टी की रणनीति को  अंतिम रूप दे दिया गया है। बैठक के बाद 'आप' ने लोकसभा चुनावों की अपनी रणनीति का एलान कर दिया है। राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक में 'आप' के मीडिया प्रमुख बनाए गए योगेंद्र यादव ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा कि आम आदमी पार्टी देश के 15 से 20 राज्यों में लोकसभा सीटों पर अपने उम्मीदवार उतारेगी। पार्टी हरियाणा की सभी लोकसभा और विधानसभा सीटों पर चुनाव लड़ेंगी। इस बीच केंद्रीय मंत्री और कांग्रेस के वरिष्‍ठ नेता ने आम आदमी पार्टी को देश के सभी राजनीतिक दलों के लिए खतरा बताया है। 'आप' के प्रभाव को सिर्फ दिल्‍ली तक आंक रहे दलों को जयराम रमेश ने चेतावनी देते हुए कहा- कांग्रेस, भाजपा या कोई अन्‍य क्षेत्रीय दलों ने अगर जनता की आवाज नहीं सुनी तो वे जल्‍द ही इतिहास बन जाएंगे। 
 
योगेंद्र यादव ने कहा कि लोकसभा चुनावों के लिए पार्टी देशभर में व्यापक सदस्यता अभियान शुरू करेगी। उन्होंने कहा कि अभी तक ली जा रही 10 रुपए की सदस्यता राशि भी नहीं ली जाएगी। पार्टी 10 जनवरी से देशभर में 'मैं भी आम आदमी' नाम से एक अभियान चलाएगी, जिसमें देशभर के लोगों को 'आप' से जुड़ने के लिए आमंत्रित किया जाएगा। अभियान 26 जनवरी तक चलेगा।
 
ऐसे होगा लोकसभा उम्मीदवारों का चयन
योगेंद्र यादव ने कहा कि पार्टी 15 से 20 जनवरी तक लोकसभा चुनाव के उम्‍मीदवारों की पहली लिस्‍ट जारी कर देगी। इसके बाद जैसे-जैसे उम्मीदवारों के नाम सामने आते जाएंगे, वैसे- वैसे पार्टी अन्य सूची भी जारी करेगी। उम्मीदवारों के चयन के बारे में योगेंद्र यादव ने कहा कि देशभर से सदस्य लोकसभा उम्मीदवारी के लिए अर्जी दे सकते हैं। उन्होंने कहा कि आवेदन पत्र 'आप' की वेबसाइट पर मौजूद हैं और उन्‍हें ऑनलाइन भी भरा जा सकता है। ये अर्जी जिला और राज्य स्तर पर पार्टी कार्यालयों में भी दी जा सकती है। इसके बाद ईमानदार और साफ-सुथरी छवि वाले उम्मीदवारों का चयन किया जाएगा। केवल 15 जनवरी तक मिलने वाली अर्जी पर ही विचार किया जाएगा।   
 
हरियाणा की सभी सीटों पर लोकसभा और विधानसभा चुनाव लड़ेगी पार्टी
योगेंद्र यादव ने कहा कि आम आदमी पार्टी हरियाणा की सभी दस लोकसभा सीटों पर चुनाव लड़ेगी। साथ ही विधानसभा चुनाव में भी राज्य की सभी 90 सीटों पर उम्मीदवार उतारे जाएंगे। पार्टी 15 से 20 राज्यों में चुनाव लड़ेगी। 
 
'आप' की चुनाव प्रचार समिति 
लोकसभा चुनाव में की रणनीति तय करने के लिए पार्टी ने 'चुनाव प्रचार समिति' बनाई है। फिलहाल इस समिति में तीन लोग योगेंद्र यादव, संजय सिंह और पंकज गुप्‍ता शामिल होंगे। आने वाले समय में इस समिति में अन्‍य लोगों को भी शामिल किया जाएगा।
 
मार्च में जारी होगा घोषणापत्र 
योगेंद्र यादव ने कहा कि पार्टी विकास और भ्रष्टाचार के मुद्दों को लेकर ही लोकसभा चुनाव में उतरेगी। इसके लिए विस्तृत घोषणा पत्र मार्च में जारी किया जाएगा।

मोदी बोले- मैंने रेल के डिब्‍बों में चाय बेची, मां ने घरों में बर्तन साफ किए



नई दिल्‍ली. बाबा रामदेव की ओर से मुद्दों पर आधारित समर्थन की बात कही जाने के बाद भारतीय जनता पार्टी के प्रधानमंत्री पद के उम्‍मीदवार नरेंद्र मोदी रविवार को दिल्‍ली आए और तलकटोरा स्‍टेडियम में रामदेव के साथ मंच साझा किया। कार्यक्रम में मोदी के साथ भाजपा अध्‍यक्ष राजनाथ सिंह और अरुण जेटली भी मौजूद रहे। इस दौरान तीनों ने बाबा रामदेव के उन सभी मुद्दों पर सहमति जताई, जिनके आधार पर रामदेव ने आम चुनाव में समर्थन की बात कही थी। मोदी, राजनाथ और जेटली के भाषण के बाद बाबा रामदेव ने कहा कि वह संतुष्‍ट हैं। उन्‍हें उम्‍मीद है कि भाजपा उनके मुद्दों पर काम करेगी। इससे पहले रामदेव के मंच पर आकर मोदी ने बेहद भावुक बातें कीं और बार-बार लगाए जा रहे आरोपों पर कहा- मेरी मां ने पड़ोस के घरों में बर्तन साफ करके, कड़ी मेहनत से हमें पाला। उन्‍होंने कहा- मैं देश का शुक्रगुजार हूं कि उन्‍होंने रेल के डिब्‍बों में चाय बेचने वाले को कंधों पर उठा लिया। मोदी ने आगे कहा कि हम सभी का दर्द समझते हैं। गौरतलब है कि कांग्रेस पार्टी मोदी पर संवेदनहीन होने का आरोप लगा रही है। 
 
बहरहाल, मोदी ने कहा कि आजादी के बाद 2014 का आम चुनाव आजादी के बाद पहला ऐसा चुनाव है, जो कि जन आंदोलन बन गया है। उन्‍होंने चुनाव को आंदोलन बनाने का श्रेय बाबा रामदेव को दिया। मोदी ने जीएसएलवी डी-5 की सफलता पर वैज्ञानिकों को बधाई दी और कहा कि दोस्‍तों इस देश में बड़ी संभावना है। कार्यक्रम के दौरान मोदी ने बाबा रामदेव को कर प्रणाली में बदलाव और काला धन वापस लाने का भी भरोसा दिलाया। 
 
बाबा रामदेव ने शुक्रवार को रखी थी शर्त 
 
बाबा रामदेव ने शुक्रवार को मोदी को समर्थन देने के लिए शर्त रख दी थी। उन्‍होंने कहा था कि रविवार को तालकटोरा स्‍टेडियम में कार्यक्रम के दौरान वह इसकी घोषणा करेंगे कि उनका संगठन मोदी का समर्थन करेगा या नहीं? बाबा रामदेव ने शनिवार को अपने मुद्दों के बारे में भाजपा के वरिष्‍ठ नेता अरुण जेटली से भी मुलाकात की थी। दूसरी ओर कांग्रेस नेता संजय निरुपम ने रामदेव के इस कदम को देश के लिए मजाक बताया है। उन्‍होंने कहा कि बाबा रामदेव सुबह कुछ बोलते हैं, शाम को कुछ और।

स्‍पेस में भारत की लंबी छलांग: पहले स्‍वदेशी क्रायोजेनिक इंजन GSLV D-5 ने किया सफल प्रक्षेपण



श्रीहरिकोटा (आंध्रप्रदेश). भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) ने रविवार को जीएसएलवी डी-5 की सफल लॉन्चिंग की। जीएसएलवी डी-5 पहला स्वदेशी क्रायोजेनिक इंजन (जीएसएलवी डी-5) है, जिसने जीसैट-14 संचार उपग्रह को सफलतापूर्वक उसकी कक्षा में स्थापित कर दिया। इसके साथ ही भारत उन देशों के क्लब में शामिल हो गया है, जिनके पास अपनी क्रायोजेनिक तकनीक है। इसे भारत के लिए बड़ी सफलता माना जा रहा है, क्‍योंकि अब तक भारत को फ्रांस से दोगुनी कीमत चुका कर रॉकेट लेने पड़ते थे। इसके अलावा जीएसएलवी डी-5 की सफल लॉन्चिंग भारत के 'चंद्रयान-2' अभियान के लिए भी महत्‍वपूर्ण मानी जा रही है। इस उपलब्धि पर प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने इसरो के वैज्ञानिकों को बधाई देते हुए कहा- भारत ने विज्ञान और तकनीकी क्षेत्र में एक और महत्वपूर्ण कदम उठाया है। 
बड़े कमाल कर सकता है क्रायोजेनिक इंजन
क्रायोजेनिक इंजन में तरल हाइड्रोजन और तरल ऑक्सीजन का इस्तेमाल होता है, जो बर्फ से भी बहुत कम तापमान पर काम करते हैं। किसी रॉकेट को अंतरिक्ष में प्रक्षेपित करने के दौरान उसका ईंधन भी ले जाना पड़ता है। ऐसे में सबसे हल्का ईंधन तरल हाईड्रोजन और तरल ऑक्सीजन हैं और उसे जलाने पर सबसे अधिक ऊर्जा मिलती है। इससे सहज ही समझा जा सकता है कि अंतरिक्ष मिशन में क्रायोजेनिक इंजन का क्‍या महत्‍व है। अभी तक भारत को क्रायोजेनिक इंजन के लिए विदेशों पर निर्भर रहना पड़ता था, लेकिन पोखरण परमाणु परीक्षण के बाद दुनिया ने यह तकनीकी देने से इनकार कर दिया गया था, तभी से भारत के वैज्ञानिक इसे विकसित करने में लगे थे। 
 
आपको बता दें कि रविवार को 4 बजकर 18 मिनट पर श्रीहरिकोटा के सतीश धवन स्‍पेस सेंटर से जीएसएलवी डी-5 को लॉन्‍च किया गया और ठीक 17 मिनट की उड़ान के बाद जीसैट-14 अपनी कक्षा में पहुंच गया। जीएसएलवी डी-5 इस साल अंतरिक्ष में पहुंचने वाला पहला सैटेलाइट है। इसकी लॉन्चिंग के लिए शनिवार दोपहर 11.18 बजे काउंट डाउन शुरू कर दिया गया था। इस प्रक्षेपण के पीछे वैज्ञानिकों की 20 साल की वह मेहनत भी दांव लगी थी, जो उन्होंने देसी क्रायोजेनिक इंजन विकसित करने में लगाई। इस पूरे अभियान की कुल लागत 356 करोड़ रुपए बताई जा रही है।

क़ुरान का सन्देश

 
Related Posts Plugin for WordPress, Blogger...