आपका-अख्तर खान

हमें चाहने वाले मित्र

07 अगस्त 2015

सोनिया ने कहा- ड्रामेबाज हैं सुषमा, राहुल ने पूछा- मदद के बदले कितने पैसे मिले?


नई दिल्ली. कांग्रेस ने विदेश मंत्री सुषमा स्वराज को लेकर शुक्रवार को तीखे बयान दिए। प्रेसिडेंट सोनिया गांधी ने सुषमा को ड्रामेबाज बताया। वहीं, कांग्रेस वाइस प्रेसिडेंट राहुल गांधी ने सवाल किया- ललित मोदी की मदद के बदले सुषमा स्वराज को कितने पैसे मिले थे? जब बयानबाजी तेज हुई तो भाजपा नेता और केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी ने मोर्चा संभाला। कहा- क्या यही संस्कार राहुल अपनी कांग्रेस को देना चाहते हैं? और सोनियाजी के लिए डेढ़ मिनट की टीवी पर बाइट देना आसान है, बिना पेपर के डेढ़ घंटा भाषण देना मुश्किल है।
बता दें कि अपने 25 सांसदों के 5 दिन के सस्पेंशन के खिलाफ कांग्रेस लोकसभा की कार्यवाही का बायकॉट कर रही है। इन सांसदों ने ललितगेट मुद्दे पर सुषमा के इस्तीफे की मांग के विरोध में हंगामा किया था। इसी के चलते स्पीकर सुमित्रा महाजन ने उन्हें सस्पेंड किया था। इस बीच, शुक्रवार को भी संसद के बाहर कांग्रेस ने प्रदर्शन किया। एनसीपी, लेफ्ट और जदयू ने भी इसमें हिस्सा लिया। वहीं, सपा नेता रामगोपाल यादव ने कहा कि उनकी पार्टी सुषमा स्वराज के गुरुवार को दिए बयान से संतुष्ट है।
सुषमा ने संसद में क्या कहा था? इस पर कांग्रेस ने कैसे दिए तीखे बयान? और बीजेपी ने कैसे किया पलटवार?
मेरी जगह सोनिया जी होती तो क्या करतीं?
सोनिया ने कहा- मैं उस महिला की मदद करती, लेकिन कानून तोड़कर नहीं।
राहुल ने कहा- सोनियाजी ने ऐसा नहीं किया होता।
स्मृति ईरानी ने कहा- क्या कांग्रेस महिलाओं का ऐसे ही सम्मान करती है? स्पीकर के खिलाफ भी शर्ट उतारकर प्रदर्शन करती है? अर्द्धनग्न प्रदर्शन कर कांग्रेस संसद की गरिमा कम न करे। क्या राहुल यही संस्कार कांग्रेस को देना चाहते हैं?
अगर कैंसर पीड़ित महिला की मदद करना गुना है तो हां, मैंने गुनाह किया है।
सोनिया ने कहा- सुषमा जी ड्रामेबाज हैं।
राहुल ने कहा- सुषमाजी ने अच्छा लेकिन खोखला भाषण दिया।
स्मृति ने कहा- क्या वे पार्लियामेंट को स्टेज बताना चाहते हैं? डेढ़ मिनट की टीवी पर बाइट देना आसान है, बिना पेपर के डेढ़ घंटा भाषण देना मुश्किल है।
राजीव प्रताप रूडी ने कहा, 'कुछ लोग जानते हैं कि कैसे एक सांसद अपनी बात रख सकता है। वहीं, कुछ बोलना ही नहीं जानते। यही अंतर है सुषमा स्वराज और सोनिया गांधी के बीच।'
मुझसे पूछ रहे हैं कि कैसे किया? क्यों किया? अरे, पहले यह तो बताओ क्या किया? राहुल ने कहा- जब भी चोरी होती है तो बताकर नहीं होती। सुषमा स्वराज ने चोरी छिपे काम किया था। मोदी की मदद की बात सरकार को क्यों नहीं बताई? रविशंकर प्रसाद ने कहा- मैं राहुल को याद दिला दूं कि वे आज जहां हैं, अपनी पारिवारिक विरासत की वजह से हैं।
मैंने मोदी को ट्रैवल डॉक्यूमेंट देने के लिए कोई सिफारिश नहीं की। राहुल ने कहा- सुषमा जी ये बताएं कि ललित मोदी ने जेल से बाहर रहने के लिए आपको और आपके परिवार को कितना पैसा दिया? स्मृति ईरानी ने कहा- सुषमाजी ने अपने भाषण के जरिए अपोजिशन को यह चैलेंज दिया है कि वे सबूत लाकर बताएं।
एक दिन पहले सुषमा ने क्या कहा था?
लोकसभा में गुरुवार को सुषमा ने ललितगेट मुद्दे पर बयान दिया था। उन्होंने कहा था, ‘‘ललित की पत्नी पर तो कोई आरोप नहीं है और वे इस देश की नागरिक हैं। मैं पूछना चाहती हूं कि अगर मेरी जगह सोनिया जी होतीं तो वे क्या करतीं? क्या उस महिला को मरने के लिए छोड़ देतीं। मुझ पर आरोप लगाया जा रहा है कि मैंने ललित मोदी के लिए सिफारिश की। मैं पूरी जिम्मेदारी से कहना चाहती हूं कि मैंने ब्रिटिश सरकार से मोदी को ट्रैवल डॉक्युमेंट्स देने की सिफारिश नहीं की। मैं चुनौती देती हूं कि एक ई-मेल, कागज, एक पर्ची, एक चिट्ठी या फिर कोई ऐसा सबूत पेश करें जो यह साबित करता हो कि मैंने ललित मोदी के लिए सिफारिश की। यदि इस तरह की महिला की मदद करना गुनाह है तो हां, मैंने यह गुनाह किया है और पूरे देश के सामने अपना गुनाह कबूल करती हूं।” 
राजनाथ ने की मीटिंग
लगातार संसद नहीं चलने पर मोदी सरकार की परेशानियां बढ़ गई हैं। गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने इस मुद्दे पार्टी के सीनियर नेता वेंकैया नायडू और सुषमा स्वराज के साथ शुक्रवार को मीटिंग की।
ललितगेट में कैसे सामने आया था सुषमा स्वराज का नाम?
ब्रिटेन के अखबार द संडे टाइम्स ने 14 जून को एक खबर छापी, जिसके बाद देश में बड़ा विवाद शुरू हो गया। अखबार के मुताबिक, जुलाई 2014 में ललित मोदी ने पत्नी मीनल मोदी की पुर्तगाल में कैंसर सर्जरी से पहले विदेश मंत्री सुषमा स्वराज से संपर्क किया। मोदी को ब्रिटेन से बाहर जाने की इजाजत नहीं मिल रही थी। सुषमा ने ब्रिटेन स्थित भारतीय मूल के सांसद कीथ वाज से बात की। उन्हें बताया कि अगर मोदी को ट्रैवल डॉक्युमेंट्स दिए जाते हैं, तो इससे भारत-ब्रिटेन के संबंधों पर असर नहीं पड़ेगा। सुषमा की इसी मदद से सरकार बैकफुट पर आ गई। जो सरकार एक साल तक बेदाग गवर्नेंस का प्रचार कर रही थी, उसी की विदेश मंत्री पर किसी को अनुचित फायदा पहुंचाने का आरोप लग गया।

कवि हलवाई की दुकान पहुँचे

एक बार एक कवि हलवाई की दुकान पहुँचे, जलेबी दही ली और वहीं खाने बैठ गये।
इतने में एक कौआ कहीं से आया और दही की परात में चोंच मारकर उड़ चला।
पर हलवाई ने उसे देख लिया। हलवाई ने कोयले का एक टुकड़ा उठाया और कौए को दे मारा।
कौए की किस्मत ख़राब, कोयले का टुकड़ा उसे जा लगा और वो मर गया।
कवि महोदय ये घटना देख रहे थे । कवि हृदय जगा । जब वो जलेबी दही खाने के बाद पानी पीने पहुँचे तो उन्होने कोयले के टुकड़े से एक पंक्ति लिख दी।
कवि ने लिखा
"काग दही पर जान गँवायो"
तभी वहाँ एक लेखपाल महोदय जो कागजों में हेराफेरी की वजह से निलम्बित हो गये थे, पानी पीने पहुँचे। कवि की लिखी पंक्तियों पर जब उनकी नजर पड़ी तो अनायास ही उनके मुँह से निकल पड़ा , कितनी सही बात लिखी है! क्योंकि उन्होने उसे कुछ इस तरह पढ़ा-
"कागद ही पर जान गँवायो"
तभी एक मजनू टाइप आदमी भी पिटा पिटाया सा वहाँ पानी पीने पहुँचा। उसे भी लगा कितनी सच्ची और सही बात लिखी है काश उसे ये पहले पता होती, क्योंकि उसने उसे कुछ यूँ पढ़ा था-
"का गदही पर जान गँवायो"
सो तुलसीदास जी की लाइनें देखिए।
"जाकी रही भावना जैसी
प्रभु मूरत देखी तिन तैसी"

एक बार एक पजामा पहने हुए

एक बार एक पजामा पहने हुए
इंडियन से
एक अंग्रेज ने पूछा:-
.
"आप का यह
देशी पैंट
(पजामा) कितने दिन चल
जाता है?
.
इंडियन ने जवाब दिया: "कुछ
ख़ास
नहीं, मैं इसे एक साल पहनता हूं।
.
उसके
बाद
श्रीमति जी इसको काटकर
राजू के साइज़
का बना देती है।
.
फिर राजू
इसे एक साल पहनता है।
.
उसके बाद
श्रीमति जी इसको काट-
छांट कर तकियों के कवर
बना लेती हैं।
.
फिर एक साल बाद उन कवर
का झाड़ू
पोछे में इस्तेमाल करते हैं।"
.
अंग्रेज
बोला:
"फिर फेंक देते होंगे ?"
.
इंडियन ने फिर कहा: "नहीं-
नहीं इसके
बाद 6 महीने तक मै इस से अपने
जूते साफ़
करता हूं और अगले 6 महीने तक
बाइक
का साइलेंसर चमकाता हूं।
.
बाद में उसे हाथ से बनाई जाने
वाली गेंद में
काम लेते हैं और अंत में
कोयले की सिगडी (चूल्हा)
सुलगाने के
काम में लेते हैं और
सिगड़ी (चूल्हे)
की राख बर्तन मांजने के काम
में
लेते हैं।"
.
इतना सुनने के बाद अंग्रेज
बेहोश
होकर
गिर गया
और उसे होश आने पर
एहसास हुआ
कि आखिर अंग्रेज भारत
छोड़कर
जाने पर क्यों मजबूर hue

लोग देखते रह गए और प्रेमी जोड़े ने बाइक समेत तालाब में लगा दी छलांग

फोटो: युवती (इनसेट में) का शव निकालते गोताखोर
फोटो: युवती (इनसेट में) का शव निकालते गोताखोर
गोंडल (गुजरात)। शहर में शुक्रवार दोपहर को एक प्रेमी जोड़े ने तालाब में कूदकर आत्महत्या कर ली। प्रत्यक्षदर्शियों के बताए अनुसार दोनों एक बाइक पर सवार थे। बाइक तेज रफ्तार में थी और इसी बीच युवक ने बाइक का मुंह तालाब की ओर मोड़ दिया। दो घंटे की मशक्कत के बाद दोनों के शव निकाल निकाल लिए गए।
प्रत्यक्षदर्शियों के बताए अनुसार भगवतपुरा में रहने वाले कल्पेश राठौड़ (23) और मोविया गांव में रहने वाली पायल (22) एक बाइक पर सवार होकर वेरी तालाब पहुंचे। इसके बाद कल्पेश बाइक लेकर तालाब के घाट के पास पहुंचा। इस दौरान भी दोनों बाइक पर सवार रहे। इसके बाद कल्पेश ने बाइक पीछे ली और तेज रफ्तार से भगाते हुए घाट से तालाब में उतार दी। कुछ लोगों ने यह नजारा अपनी आंखों से देखा, लेकिन वे समझ नहीं पाए कि आखिर ये हो क्या रहा है। इन्हीं लोगों ने तुरंत पुलिस और फायर ब्रिगेड को इसकी जानकारी दी। बचाव दल मौके पर पहुंच पाता, तब तक दोनों की मौत हो चुकी थी। पुलिस ने मामला दर्ज शवों को पोस्टमार्टम के लिए भेजा है।
प्रेम-प्रसंग बना कारण:
पुलिस से मिली जानकारी के अनुसार पायल विवाहिता थी, लेकिन पति से तलाक हो चुका था। पायल की एक दो वर्षीय बेटी भी है। वहीं, कल्पेश अविवाहित था। पायल और कल्पेश के बीच प्रेम-संबंध थे। दोनों के परिजन से मिली जानकारी के अनुसार लगभग 6-7 दिन से दोनों घर से लापता थे। परिजन इनके रिश्ते के लिए सहमत नहीं थे, इसीलिए इन्होंने आत्महत्या का कदम उठा लिया।

कोमल धारीवाल के आकस्मिक निधन पर आज राजस्थान के कांग्रेस कार्यकर्ताओं और नेताओं में शोक की लहर दौड़ गई

पूर्व मंत्री कांग्रेस के दिग्गज नेता शान्तिकुमार धारीवाल की धर्मपत्नी कोमल धारीवाल के आकस्मिक निधन पर आज राजस्थान के कांग्रेस कार्यकर्ताओं और नेताओं में शोक की लहर दौड़ गई ,,कोमल धारीवाल के निधन पर उन्हें अश्रुपूर्ण श्रद्धांजलि देने आज राजस्थान प्रदेश कांग्रेस कमेटी के प्रदेश अध्यक्ष सचिन पायलेट अपने सभी कार्यक्रम रद्द कर कोटा पहुंचे ,,उन्होंने किशोरपुरा स्थित मुक्तीधाम पर कोमल धारीवाल के पार्थिव शरीर पर पुष्प चक्र अर्पित कर अश्रुपूर्ण श्रद्धांजलि दी ,,,सचिन पायलेट को जब मेने कोमल धारीवाल की सहज हृदयता ,,समर्पण के बारे में बताना चााहा तो सचिन पायलेट ने रुंधे हुए गले से कहा के कोमल जी से में कई बार मिला हूँ और में उनकी सहजता ,,सरलता ,,निर्मलता और विनम्रता का क़ायल रहा हूँ ,,सचिन पायलेट ,,किशोरपुरा मुक्तीधाम से सीधे ,,, सवाईमाधोपुर के लिए रवाना हो गए ,,,,कोमल धारीवाल को श्रद्धांजलि देने पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गेहलोत भी सड़क के रास्ते से कोटा पहुंचे उन्होंने शान्ति धारीवाल को सांत्वना दी और कोमल धारीवाल के पार्थिव शरीर पर पुष्प चक्र अर्पित कर श्रद्धांजलि दी ,,,पूर्व केंद्रीय मंत्री नमोनारायण मीना ,,पूर्व सांसद महेश जोशी ,,,राजेन्द्र पारीक ,,डॉक्टर चन्द्रभान ,,,,जितेंद्र प्रसाद ,,रामकिशन वर्मा ,,प्रहलाद गुंजल ,,भवानी सिंह राजावत ,,हरिकृष्ण बिरला छोटा भाईसाहब ,,,,,,,,नईमुद्दीन गुड्डू ,,पंकजमेहता ,,सहित राजस्थान के अधिकतम पूर्वमंत्री और पार्टी के पदाधिकारी सहित कोटा के सभी गणमान्य नागरिक ,,पत्रकार ,,,अधिकारी ,,डॉक्टर ,,साहित्यकार ,,पार्टी के कार्यकता मौजूद थे ,,हज़ारों की तादाद में लोगों ने कोमल धारीवाल को श्रद्धा सुमन अर्पित किये ,,,,,,,,,,कोमल धारीवाल के तिये की बैठक रविवार नो अगस्त को सुबह साढ़े ग्यारह बजे दादाबाड़ी स्थित दान बाढ़ी में रखी गयी है ,,,,,,,,,,,,,,,,अख्तर खान अकेला कोटा राजस्थान

क़ुरआन का सन्देश

 
Related Posts Plugin for WordPress, Blogger...